COVID JN.1 Variant in Bengaluru Wastewater: सावधान! बैंगलुरु के सीवेज में मिला कोरोना का खतरनाक वेरिएंट, 100 में से 96 सैंपल पॉजिटिव
टीआईजीएस ने हाल ही के महीने में एक चिंताजनक स्टडी की है. उनके मुताबिक, शहर के सीवेज के पानी में कोरोना का नया वेरिएंट जेएन.1 सबसे ज्यादा पाया गया है.
COVID JN.1 Variant in Bengaluru Wastewater: बैंगलुरु में कोरोना जंग अभी खत्म नहीं हुई है! टाटा इंस्टीट्यूट फॉर जेनेटिक्स एंड सोसाइटी (टीआईजीएस) ने हाल ही के महीने में एक चिंताजनक स्टडी की है. उनके मुताबिक, शहर के सीवेज के पानी में कोरोना का नया वेरिएंट जेएन.1 सबसे ज्यादा पाया गया है.
ये स्टडी 26 सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट्स (एसटीपी) के सैंपल पर हुई है. रिपोर्ट के मुताबिक, 11 से 22 दिसंबर के बीच लिए गए नमूनों में से 96% में कोरोना वायरस पाया गया. यानी 100 में से 96 सैंपल पॉजिटिव आए!
टीआईजीएस के डायरेक्टर राकेश मिश्रा का कहना है कि 18 से 22 दिसंबर के बीच के सैंपल में वायरस का लोड करीब तीन गुना ज्यादा पाया गया है. यानी ज्यादा लोग संक्रमित हो रहे हैं और वायरस फैला रहे हैं. हालांकि ये खबर अच्छी है कि जेएन.1 जैसे मौजूदा रूप ज्यादा खतरनाक नहीं हैं. वे ऊपरी श्वसन तंत्र पर हमला करते हैं, इसलिए उनमें लक्षण भी कम दिखते हैं. इसलिए अस्पताल में भरती होने वाले मरीजों की संख्या बढ़ने की संभावना कम है.
लेकिन, बुजुर्गों और पहले से बीमार लोगों को सावधानी बरतने की सलाह दी गई हैं. ये कम लक्षण वाले वेरिएंट भी उनके लिए ज्यादा खतरनाक हो सकते हैं. इसलिए मास्क पहनना, शारीरिक दूरी बनाए रखना और हाथ धोना जैसी सावधानियां जरूरी हैं.
इस स्टडी को रॉकफेलर फाउंडेशन ने सपोर्ट किया है और बीबीएमपी और नेशनल सेंटर फॉर बायोलॉजिकल साइंसेज (एनसीबीएस) के साथ मिलकर किया गया है. टीआईजीएस कोविड-19 शुरू होने से ही वायरस की निगरानी कर रहा है और बैंगलुरु, हैदराबाद, पुणे और दिल्ली में ऐसे स्टडी कर रहा है.
जनवरी 2020 में फैलने के बाद से भारत में कोरोनोवायरस मामलों की कुल संख्या 4,50,10,944 तक पहुंच गई है. भारत में COVID-19 संक्रमण के कारण मरने वालों की कुल संख्या बढ़कर 5,33,346 हो गई है. इंडियन SARS-CoV-2 जीनोमिक्स कंसोर्टियम (INSACOG) के प्रमुख डॉ. एनके अरोड़ा ने कहा है कि ओमीक्रॉन के सबवेरिएंट JN.1 के खिलाफ फिलहाल वैक्सीन के किसी अतिरिक्त डोज की जरूरत नहीं है. उन्होंने कहा कि घबराने की नहीं बल्कि सावधानी बरतने की जरूरत है.