सालों इंतजार करने के बाद 83 हिंदुओं को मिली भारत की नागरिकता
पाकिस्तान से कई साल पहले यहां आए करीब 83 हिंदुओं को जिला प्रशासन ने शुक्रवार को भारत की नागरिकता दी. जिला कलेक्ट्रेट में आयोजित एक शिविर में जिला अधिकारी विक्रांत पांडे एवं स्थानीय विधायक बलराम थावनी ने इन 83 आवेदकों को नागरिकता कानून, 1955 के प्रावधानों के अनुरूप भारतीय नागरिकता के प्रमाण-पत्र प्रदान किए.
अहमदाबाद: पाकिस्तान (Pakistan) से कई साल पहले यहां आए करीब 83 हिंदुओं को जिला प्रशासन ने शुक्रवार को भारत की नागरिकता (Indian citizenship) दी. जिला कलेक्ट्रेट में आयोजित एक शिविर में जिला अधिकारी विक्रांत पांडे एवं स्थानीय विधायक बलराम थावनी ने इन 83 आवेदकों को नागरिकता कानून, 1955 के प्रावधानों के अनुरूप भारतीय नागरिकता के प्रमाण-पत्र प्रदान किए.
ज्यादातर आवेदक या तो सिंधी थे या माहेश्वरी समुदाय से ताल्लुकात रखते थे.
पांडे ने बताया कि इस शिविर से पहले अहमदाबाद कलेक्ट्रेट ने करीब 400 लोगों को भारत की नागरिकता दी थी और इसी के साथ दो साल पहले नयी व्यवस्था के प्रभावी होने के बाद से वह इस तरह से नागरिकता देने के मामले में देश के सभी जिलों में शीर्ष पर पहुंच गया.
उन्होंने संवाददाताओं से कहा, “2016 में केंद्र ने पाकिस्तान, बांग्लादेश और अफगानिस्तान के अल्पसंख्यक समुदायों के सदस्यों जैसे हिंदू एवं सिखों को नागरिकता देने की प्रक्रिया को विकेंद्रित कर दिया था. आज पकिस्तान से आए 83 आवेदक भारत के नागरिक बन गए.”
पांडे ने बताया कि दिसंबर 2016 में जारी गजट अधिसूचना के माध्यम से गुजरात के अहमदाबाद, गांधीनगर और कच्छ के जिला अधिकारों को राज्य में रह रहे इन समुदायों के आवेदकों को भारतीय नागरिकता देने की शक्ति दी थी.