जरुरी जानकारी | डीओसी की कमजोर मांग से सोयाबीन तिलहन स्थिर, कम आपूर्ति से बाकी तेल-तिलहन में सुधार

Get Latest हिन्दी समाचार, Breaking News on Information at LatestLY हिन्दी. सोयाबीन डी-आयल्ड केक (डीओसी) की कमजोर स्थानीय एवं ढीली निर्यात मांग के बीच देश के थोक तेल-तिलहन बाजार में बृहस्पतिवार को सोयाबीन तिलहन के दाम पर पूर्वस्तर पर बने रहे जबकि कम आयात की वजह से आपूर्ति की दिक्कतों के कारण सरसों एवं मूंगफली तेल-तिलहन, सोयाबीन तेल, कच्चा पामतेल (सीपीओ) एवं पामोलीन तथा बिनौला तेल के भाव मजबूत बंद हुए।

नयी दिल्ली, 14 मार्च सोयाबीन डी-आयल्ड केक (डीओसी) की कमजोर स्थानीय एवं ढीली निर्यात मांग के बीच देश के थोक तेल-तिलहन बाजार में बृहस्पतिवार को सोयाबीन तिलहन के दाम पर पूर्वस्तर पर बने रहे जबकि कम आयात की वजह से आपूर्ति की दिक्कतों के कारण सरसों एवं मूंगफली तेल-तिलहन, सोयाबीन तेल, कच्चा पामतेल (सीपीओ) एवं पामोलीन तथा बिनौला तेल के भाव मजबूत बंद हुए।

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बाजार सूत्रों ने कहा कि सोयाबीन डीओसी की कमजोर निर्यात मांग की वजह से सोयाबीन तिलहन के दाम पूर्वस्तर पर बने रहे। इसकी स्थानीय मांग भी कमजोर है। जबकि सोयाबीन डीगम तेल के कम आयात की वजह से खाद्य तेलों की आपूर्ति प्रभावित रहने के बीच सोयाबीन तेल सहित सरसों एवं मूंगफली तेल-तिलहन, कच्चा पामतेल (सीपीओ) एवं पामोलीन तथा बिनौला तेल के दाम मजबूत बंद हुए।

सूत्रों ने कहा कि महंगा होने की वजह से पाम पामोलीन तेल का आयात कम है। बिनौला तेल की आपूर्ति भी कम है। इसके अलावा बंदरगाहों पर आयातित सोयाबीन डीगम पहले 10 प्रतिशत प्रीमियम दाम पर बिक रहा था जो प्रीमियम की राशि आज बढ़कर 14-15 प्रतिशत हो गयी। यानी कहा जा सकता है कि आयात करने पर पाम एवं पामोलीन तेल सूरजमुखी और सोयाबीन डीगम से महंगा बैठता है लेकिन खुदरा में सूरजमुखी और सोयाबीन डीगम पाम एवं पामोलीन से कहीं ऊंचे दाम पर बिक रहा है। विशेषज्ञों को इस महंगाई की भी चिंता करनी चाहिये। तेल मिलें, तिलहन किसान और उपभोक्ताओं में से कोई भी मौजूदा स्थिति से फायदे में नहीं बल्कि नुकसान में हैं।

सूत्रों ने कहा कि मंडियों में सरसों की आवक बुधवार के रिकॉर्ड लगभग 14 लाख बोरी से घटकर आज लगभग साढ़े 13 लाख बोरी रह गयी। सरसों की चौतरफा मांग भी है क्योंकि स्टॉकिस्टों और पेराई मिलों को न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) पर सरकारी खरीद से पहले अभी सस्ते में सरसों उपलब्ध हो रहा है। दिल्ली की नजफगढ़ मंडी में कल सरसों का दाम 5,025 रुपये क्विंटल था जो आज बढ़कर 5,200-5,225 रुपये क्विंटल हो गया। लेकिन ये दोनों ही दाम एमएसपी से कम ही हैं।

तेल-तिलहनों के भाव इस प्रकार रहे:

सरसों तिलहन - 5,500-5,540 रुपये प्रति क्विंटल।

मूंगफली - 6,150-6,425 रुपये प्रति क्विंटल।

मूंगफली तेल मिल डिलिवरी (गुजरात) - 15,050 रुपये प्रति क्विंटल।

मूंगफली रिफाइंड तेल 2,260-2,535 रुपये प्रति टिन।

सरसों तेल दादरी- 10,550 रुपये प्रति क्विंटल।

सरसों पक्की घानी- 1,775-1,875 रुपये प्रति टिन।

सरसों कच्ची घानी- 1,775 -1,880 रुपये प्रति टिन।

तिल तेल मिल डिलिवरी - 18,900-21,000 रुपये प्रति क्विंटल।

सोयाबीन तेल मिल डिलिवरी दिल्ली- 11,250 रुपये प्रति क्विंटल।

सोयाबीन मिल डिलिवरी इंदौर- 11,000 रुपये प्रति क्विंटल।

सोयाबीन तेल डीगम, कांडला- 9,700 रुपये प्रति क्विंटल।

सीपीओ एक्स-कांडला- 9,275 रुपये प्रति क्विंटल।

बिनौला मिल डिलिवरी (हरियाणा)- 9,700 रुपये प्रति क्विंटल।

पामोलिन आरबीडी, दिल्ली- 10,700 रुपये प्रति क्विंटल।

पामोलिन एक्स- कांडला- 9,800 रुपये (बिना जीएसटी के) प्रति क्विंटल।

सोयाबीन दाना - 4,645-4,665 रुपये प्रति क्विंटल।

सोयाबीन लूज- 4,445-4,485 रुपये प्रति क्विंटल।

मक्का खल (सरिस्का)- 4,075 रुपये प्रति क्विंटल।

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