देश की जनता की आवश्यकता एवं भावना के अनुरूप है प्रधानमंत्री का फैसला-दीपक प्रकाश

लॉकडाउन बढ़ाने और 20 अप्रैल से कुछ स्थानों और क्षेत्रों (कार्यक्षेत्रों) में छूट देने की बात जनता की आवश्यकता और भावना के अनुरूप है।

जमात

रांची, 14 अप्रैल झारखंड भाजपा के अध्यक्ष दीपक प्रकाश ने मंगलवार को राष्ट्र के नाम प्रधानमंत्री के संबोधन का स्वागत करते हुए कहा कि

लॉकडाउन बढ़ाने और 20 अप्रैल से कुछ स्थानों और क्षेत्रों (कार्यक्षेत्रों) में छूट देने की बात जनता की आवश्यकता और भावना के अनुरूप है।

प्रकाश ने कहा कि प्रधानमंत्री ने बिना ब्रेक के लॉकडाउन आगे बढ़ाने की जो घोषणा की वह परिस्थितियों के अनुकूल निर्णय है क्योंकि देश में कई क्षेत्रों में अभी भी लॉकडाउन ठीक से लागू नहीं हो सका था।

उन्होंने लॉकडाउन के संदर्भ में प्रधानमंत्री का राष्ट्र के नाम संबोधन को एक अभिभावक की चिंता करार देते हुए कहा, ‘‘देश की जनता यह समझ चुकी है कि नरेंद्र मोदी केवल प्रधानमंत्री नहीं बल्कि देश के सच्चे प्रधानसेवक हैं ,जिनके हृदय में 130 करोड़ देश वासियों के स्वास्थ्य और सुखी जीवन की चिंता है।’’

उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री ने जिसप्रकार सभी परिवार के बुजुर्गों, करोड़ों गरीबों, दैनिक मजदूरों के प्रति कोरोना संकट के बीच जिस आत्मीय

भाव से चिंता व्यक्त की वैसा सच्चे अभिभावक से ही संभव है।

भाजपा के विधानसभा में विधायक दल के नेता बाबूलाल मरांडी ने प्रधानमंत्री के आह्वान का स्वागत करते हुए कहा कि देश और प्रदेश की जनता उनके आह्वान के साथ पूरी तरह खड़ी है और उसे मोदी जी के नेतृत्व पर भरोसा है।

उन्होंने लॉकडाउन 3 मई तक बढ़ाना समय की आवश्यकता करार देते हुए कहा, ‘‘ जनता यह जानती है कि भारत ने कैसे मोदी जी दृढ़ इच्छाशक्ति से कोरोना वायरस को बहुत हद तक नियंत्रित किया है।आज भारत सीमित संसाधनों में भी दुनिया के समक्ष कोरोना से लड़ने का आदर्श प्रस्तुत कर रहा है।’’

पूर्व मुख्यमंत्री रघुवर दास ने भी लॉकडाउन बढ़ाये जाने का स्वागत करते हुए कहा कि प्रधानमंत्री ने संकटों से लड़ने की नई राह दुनिया को दिखाई है जिसकी दुनिया में सराहना हो रही।

दास ने कहा कि नेतृत्व यदि ईमानदार और राष्ट्र को समर्पित हो तो जनता भी उसका पूरा अनुसरण करती है।

(यह सिंडिकेटेड न्यूज़ फीड से अनएडिटेड और ऑटो-जेनरेटेड स्टोरी है, लेटेस्टली स्टाफ ने इसमें कोई बदलाव या एडिट नहीं किया है)

Share Now

\