श्रीनगर, 13 जून पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडीपी) की प्रमुख महबूबा मुफ्ती ने सोमवार को आरोप लगाया कि पैगंबर मोहम्मद के खिलाफ नुपुर शर्मा की विवादित टिप्पणी कश्मीरी पंडितों की दुर्दशा से ध्यान भटकाने, मुस्लिमों को उकसाने और उनके खिलाफ प्रतिक्रिया भड़काने की भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की रणनीति थी।
भाजपा के दो निलंबित प्रवक्ताओं द्वारा पैगंबर मोहम्मद के खिलाफ की गई कथित विवादित टिप्पणी को लेकर शुक्रवार को कई राज्यों में हिंसक विरोध-प्रदर्शन हुए थे। उत्तर प्रदेश में अधिकारियों ने हिंसा में शामिल लोगों के ‘अवैध’ घरों को ढहा दिया था।
रविवार को भी हिंसा और विरोध-प्रदर्शन की छिटपुट घटनाएं सामने आई थीं, जिनमें पश्चिम बंगाल के नदिया जिले के बेथुआदहारी रेलवे स्टेशन पर भीड़ द्वारा एक ट्रेन पर हमला कर उसे नुकसान पहुंचाना शामिल है। वहीं, हावड़ा और मुर्शिदाबाद जिले के कुछ हिस्सों में निषेधाज्ञा जारी रही।
श्रीनगर में एक समारोह से इतर संवाददाताओं से बातचीत में महबूबा ने कहा, “नुपुर शर्मा द्वारा एक रणनीति के तहत विवादित बयान दिया गया था, ताकि कश्मीरी पंडितों की दुर्दशा और उनकी हत्याओं से ध्यान भटकाया जा सके, जिन्हें रोकने में भाजपा सरकार नाकाम रही है।”
पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि नुपुर शर्मा की विवादित टिप्पणियों के कारण देश के कई हिस्सों में हिंसा हुई, लेकिन अब तक उनके खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की गई है।
पीडीपी प्रमुख ने आरोप लगाया, “नुपुर शर्मा द्वारा यह बयान मुसलमानों को भड़काने के लिए दिया था, ताकि सरकार को उनके घरों को ढहाने, उन पर गोलियां चलाने और उन्हें गिरफ्तार करने का बहाना मिल सके।”
पैगंबर मोहम्मद के खिलाफ भाजपा के पूर्व प्रवक्ताओं की कथित अपमानजनक टिप्पणियों को लेकर विवाद पांच जून को सऊदी अरब, कुवैत, कतर और ईरान जैसे देशों के विरोध के बाद बढ़ गया था।
देश-विदेश में बढ़ते विरोध को देखते हुए भाजपा ने नुपुर शर्मा को निलंबित और नवीन जिंदल को निष्कासित कर दिया था।
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