रांची, 18 मई झारखंड सरकार ने मंगलवार को दावा किया है कि राज्य चिकित्सकीय ऑक्सीजन के उत्पादन के क्षेत्र में आत्मनिर्भर हो गया है और आवश्यकता से अधिक उत्पादित ‘प्राण वायु’ दूसरे राज्यों को उपलब्ध करा रहा है।
सरकार के प्रवक्ता ने बताया कि राज्य में कोविड-19 के बढ़ते मामलों के मद्देनजर सरकार ने अपने सीमित संसाधनों का सर्वोत्तम उपयोग करके ना सिर्फ चिकित्सकीय ऑक्सीजन के उत्पादन में आत्मनिर्भर बना है, बल्कि दूसरे राज्यों की भी मदद कर रहा है।
उन्होंने बताया कि मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने दो दिन पहले रामगढ़ के मांडू स्थित डीएवी स्कूल में ऑक्सीजन युक्त 80 बिस्तरों वाले कोविड केयर केन्द्र का उद्घाटन किया, ताकि ग्रामीण क्षेत्रों के लोगों को सुविधा हो सके।
प्रवक्ता ने बताया कि संक्रमित मरीजों को ऑक्सीजन उपलब्ध कराने के लिए राज्य में ऑक्सीजन कार्य बल का गठन किया गया है।
उन्होंने बताया, ‘‘अप्रैल 2021 तक राज्य में 12 ऑक्सीजन रिफिलिंग यूनिट थीं, जिनकी क्षमता प्रतिदिन 6,000 से 7,000 सिलिंडर को रिफिल करने की थी। राज्य में पांच ऑक्सीजन उत्पादन संयंत्रों द्वारा 315 टन ऑक्सीजन का उत्पादन किया जा रहा था। 22 अप्रैल तक इस क्षमता को बढ़ाकर 570 टन प्रतिदिन किया गया है।’’
उन्होंने बताया कि झारखंड अब दिल्ली, उत्तरप्रदेश समेत अन्य राज्यों को पहले से अधिक ऑक्सीजन की आपूर्ति कर रहा है।
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