देश की खबरें | हमारे मुद्दों के समयबद्ध निराकरण का आश्वासन मिला, मैंने कोई मांग नहीं रखी: पायलट
Get Latest हिन्दी समाचार, Breaking News on India at LatestLY हिन्दी. राजस्थान में सियासी संकट खत्म होने के बाद पूर्व उप मुख्यमंत्री सचिन पायलट ने मंगलवार को कहा कि कांग्रेस नेतृत्व ने उनके एवं समर्थक विधायकों द्वारा उठाए गए मुद्दों का समयबद्ध तरीके से निराकरण का आश्वासन दिया है और उन्होंने किसी पद की या कोई दूसरी मांग नहीं रखी है।
नयी दिल्ली, 11 अगस्त राजस्थान में सियासी संकट खत्म होने के बाद पूर्व उप मुख्यमंत्री सचिन पायलट ने मंगलवार को कहा कि कांग्रेस नेतृत्व ने उनके एवं समर्थक विधायकों द्वारा उठाए गए मुद्दों का समयबद्ध तरीके से निराकरण का आश्वासन दिया है और उन्होंने किसी पद की या कोई दूसरी मांग नहीं रखी है।
उन्होंने यह भी कहा कि मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के खिलाफ उनका व्यक्तिगत द्वेष नहीं है, बल्कि उन्होंने और एवं उनके साथी विधायकों ने उन कार्यकर्ताओं के मान-सम्मान की खातिर सरकार के कामकाज के मुद्दे उठाए जिन्होंने सरकार बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।
पायलट ने यहां संवाददाताओं से कहा, ‘‘हमने जो मुद्दे उठाए थे वे बहुत जरूरी थे। हम लोगों ने कार्यकर्ताओं के मान-सम्मान के मुद्दे उठाए थे। राजनीति में व्यक्तिगत द्वेष और ग्लानि का कोई स्थान नहीं है। मैंने हमेशा से प्रयास किया है कि राजनीतिक संवाद और शब्दों का चयन बहुत सोच समझकर हो।’’
उन्होंने कहा, ‘‘ मैंने साढ़े छह साल प्रदेश अध्यक्ष के तौर पर काम किया। हम पांच साल विपक्ष में रहे। 2013 में कांग्रेस का संख्या बल 21 रह गया था तब उस समय राहुल गांधी ने मुझे पार्टी को पुनर्जीवित करने का लक्ष्य दिया था। तबसे लेकर आज तक हमने मिलकर धरना प्रदर्शन किए और जनता के मुद्दे उठाए। यही कारण था कि 2018 में हम बहुमत मिला।’’
पायलट के मुताबिक, ‘‘प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष के तौर पर मेरी जिम्मेदारी थी कि मेहनत करने वाले कार्यकर्ताओं को जिम्मेदारी, मौके और मान-सम्मान दिया जाए। हम जनता की उम्मीदों पर खरा उतरें। ’’
उन्होंने कहा, ‘‘डेढ़ साल में यह लगा कि हम जनता की उम्मीदों को पूरा नहीं कर पा रहे हैं। ऐसे में हमने सरकार के कामकाज, शासन से जुड़े मुद्दे उठाए।’’
राजस्थान कांग्रेस कमेटी के पूर्व अध्यक्ष ने कहा, ‘‘ हमने पीड़ा बताने के मंच का इस्तेमाल किया। कांग्रेस अध्यक्ष ने तीन सदस्यीय पैनल बनाने का फैसला किया है। हमें आश्वस्त किया गया है कि एक रोडमैप तैयार किया जा रहा है और इन सब मुद्दों का समयबद्ध तरीके से निराकरण किया जाएगा ताकि हम दोबारा जनता के बीच जाएं तो जनादेश मिले।’’
गहलोत द्वारा किए गए हमले के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा, ‘‘मैंने अपने परिवार से संस्कार हासिल किए हैं कि किसी का भी विरोध करूं तो इस तरह का का इस्तेमाल नहीं करूंगा। गहलोत जी बड़े हैं, उनसे कोई द्वेष नहीं है। कामकाज के तरीके को लेकर मेरा मुद्दा था। जिस तरह की का इस्तेमाल किया गया उस पर टिप्पणी नहीं करूंगा। सार्वजनिक जीवन में एक लक्ष्मण रेखा होती है और मैंने कभी यह लक्ष्मण रेखा नहीं लांघी।’’
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