अमेठी (उत्तर प्रदेश), 28 मार्च : जिले में कर्ज के बदले बैंक के पास गिरवी रखी जमीन को पुलिस महकमे को कथित रूप से धोखे से बेचने और दस्तावेजों की हेराफेरी के आरोप में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के एक नेता के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की गयी है. पुलिस के एक अधिकारी ने यह जानकारी दी. पुलिस अधीक्षक (एसपी) इलामारन ने सोमवार को बताया कि भाजपा नेता ओमप्रकाश मिश्र के द्वारा जालसाजी की गई है और उनके खिलाफ मुकदमा दर्ज कर मामले की जांच की जा रही है. एसपी ने बताया कि आरोपी ने बैंक ऑफ इंडिया से कर्ज लेने के लिए अपनी जमीन गिरवी रखी थी, लेकिन दस्तावेजों में हेराफेरी कर उसे धोखे से पुलिस लाइन के लिए बेच दिया. पुलिस के अनुसार, भाजपा जिला कार्यसमिति के सदस्य ओमप्रकाश मिश्र ने दस्तावेजों की हेराफेरी कर पुलिस विभाग को पुलिस लाइन बनाने के लिए करीब दो करोड़ रुपये में वह जमीन बेची जो जिस पर पहले से ही बैंक से 78 लाख रुपये का कर्ज ले रखा था. कर्ज के एवज में यह जमीन बैंक के पास गिरवी थी.
उन्होंने बताया कि मामला अमेठी जिला मुख्यालय की सदर तहसील गौरीगंज स्थित चौहनापुर गांव का है, जहां पर अमेठी जिले की पुलिस लाइन बनना प्रस्तावित है. पुलिस लाइन के लिए जमीन का अधिग्रहण भी कर लिया गया है. इसी पुलिस लाइन की जमीन में भाजपा जिला कार्यसमिति सदस्य ओम प्रकाश मिश्रा उर्फ प्रकाश मिश्रा ने 27 जुलाई, 2017 को 0.253 वर्ग मीटर जमीन का बैनामा किया था. इस जमीन को बेचने से पहले प्रकाश मिश्र ने इस जमीन को बैंक के पास गिरवी रखकर उसपर 78 लाख रुपये का कर्ज ले रखा था. पुलिस ने बताया कि भाजपा नेता ने जमीन का बैनामा करने के बाद अमेठी पुलिस से एक करोड़ 97 लाख 78 हजार 284 रुपये का भुगतान भी ले लिया. रजिस्ट्री के दौरान प्रकाश द्वारा किसी भी प्रकार का ऋण और भार शेष होने की बात छिपाई गई और कूटरचित दस्तावेज तैयार कर बैनामा कर दिया गया. यह भी पढ़ें : Delhi Police: स्पेशल सेल ने तीन दिन के भीतर रंगदारी के एक अंधे मामले को सुलझा लिया है, 2 गिरफ्तार
उन्होंने बताया कि तीन जनवरी, 2023 को डेब्ट्स रिकवरी ट्रिब्यूनल इलाहाबाद के रिकवरी ऑफिसर ने अमेठी पुलिस को रिकवरी के लिए नोटिस दी. इसके बाद भाजपा नेता की करतूत उजागर हुई. पुलिस लाइन के प्रतिसार निरीक्षक मैनेजर दुबे की तहरीर पर आरोपी ओमप्रकाश मिश्रा के खिलाफ गौरीगंज थाने में धोखाधड़ी, दस्तावेजों में हेराफेरी समेत अन्य संबंधित धाराओं में 24 मार्च को मामला दर्ज किया गया. इस सिलसिले में भाजपा के जिलाध्यक्ष दुर्गेश त्रिपाठी ने कहा कि वह पार्टी के एक कार्यकर्ता हैं और मामले में उनके खिलाफ प्राथमिकी दर्ज हुई है. त्रिपाठी ने कहा कि कानून अपना काम करेगा और अगर वह दोषी होंगे तो कार्यवाही होगी, निर्दोष होंगे तो मुकदमा खारिज होगा.