देश की खबरें | जयपुर में भाजपा सांसद का थाने के सामने धरना जारी
Get Latest हिन्दी समाचार, Breaking News on India at LatestLY हिन्दी. भाजपा के राज्यसभा सदस्य किरोड़ी लाल मीणा ने जन स्वास्थ्य एवं अभियांत्रिकी विभाग (पीएचईडी) में कथित भ्रष्टाचार को लेकर दो मामले दर्ज करने की मांग करते हुए यहां बुधवार को लगातार दूसरे दिन भी अपना धरना जारी रखा। वह यहां अशोक नगर थाने के सामने धरने पर बैठे हैं।
जयपुर, 21 जून भाजपा के राज्यसभा सदस्य किरोड़ी लाल मीणा ने जन स्वास्थ्य एवं अभियांत्रिकी विभाग (पीएचईडी) में कथित भ्रष्टाचार को लेकर दो मामले दर्ज करने की मांग करते हुए यहां बुधवार को लगातार दूसरे दिन भी अपना धरना जारी रखा। वह यहां अशोक नगर थाने के सामने धरने पर बैठे हैं।
भाजपा सांसद ने सोमवार को पीएचईडी पर जल जीवन मिशन परियोजनाओं से संबंधित निविदाओं के अनुदान में अनियमितता का आरोप लगाया था। मीणा एक शिकायतकर्ता के साथ मंगलवार को अशोक नगर थाने में प्राथमिकी दर्ज कराने पहुंचे थे । बाद में वह पुलिस पर प्राथमिकी दर्ज नहीं करने का आरोप लगाते हुए वहीं पर धरने पर बैठ गये थे।
मीणा ने बुधवार को यह भी आरोप लगाया कि मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के शासन में भी करोड़ों रुपये का घोटाला हुआ और वह इस संबंध में भी प्राथमिकी दर्ज कराएंगे। धरनास्थल पर मीणा ने अंतरराष्ट्रीय योग दिवस पर भी सुबह योग किया। बाद में दिन में भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष सी पी जोशी धरना स्थल पर पहुंचे और प्राथमिकी दर्ज करने की मांग उठाई।
जोशी ने संवाददाताओं से कहा “सरकार कहती है कि हर प्राथमिकी थानों में दर्ज होती है लेकिन पुलिस ने मामला दर्ज करने से इनकार कर दिया है। मैं पुलिस अधिकारियों से मामला दर्ज करने की मांग करता हूं।” मीणा ने कहा कि अगर उनके द्वारा लगाए गए आरोप साबित नहीं होते हैं तो उनके खिलाफ मामला दर्ज किया जाना चाहिए।
संपर्क करने पर जयपुर के पुलिस आयुक्त आनंद श्रीवास्तव ने कहा कि मामला भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो से जुड़ा है इसलिए मीणा को मामला दर्ज कराने के लिए एसीबी कार्यालय जाना चाहिए। उन्होंने कहा “सांसद को मामला दर्ज करने के लिए एसीबी कार्यालय जाना चाहिए। इसका स्थानीय थाने से कोई लेना-देना नहीं है।”
आरोप है कि जल जीवन मिशन की 48 परियोजनाओं में फर्जी अनुभव प्रमाण पत्र के आधार पर दो फर्मों को 900 करोड़ रुपये के टेंडर जारी किए गए। शिकायतकर्ता टी एन शर्मा ने एक शिकायत में दो वरिष्ठ अधिकारियों का नाम लिया है, जबकि दूसरे में उन्होंने राजस्थान के पीएचईडी मंत्री महेश जोशी सहित अन्य का नाम लिया है।
महेश जोशी पहले ही अपने ऊपर लगे आरोपों को यह कहते हुए खारिज कर चुके हैं कि निविदा प्रक्रिया में किसी मंत्री की भूमिका नहीं होती है।
(यह सिंडिकेटेड न्यूज़ फीड से अनएडिटेड और ऑटो-जेनरेटेड स्टोरी है, ऐसी संभावना है कि लेटेस्टली स्टाफ द्वारा इसमें कोई बदलाव या एडिट नहीं किया गया है)