Death at Awards Ceremony: अजित पवार ने कार्यक्रम दिन में आयोजित कराए जाने की जांच की मांग की
महाराष्ट्र विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष अजित पवार ने भीषण गर्मी में ‘महाराष्ट्र भूषण’ पुरस्कार समारोह दोपहर के समय आयोजित कराए जाने की जांच की मांग की है। कार्यक्रम में भीषण गर्मी की चपेट में आने के बाद कम से कम 11 लोगों मौत हो गई थी।
ठाणे (महाराष्ट्र), 17 अप्रैल: महाराष्ट्र विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष अजित पवार ने भीषण गर्मी में ‘महाराष्ट्र भूषण’ पुरस्कार समारोह दोपहर के समय आयोजित कराए जाने की जांच की मांग की है. कार्यक्रम में भीषण गर्मी की चपेट में आने के बाद कम से कम 11 लोगों मौत हो गई थी. नवी मुंबई में खारघर क्षेत्र में 306 एकड़ जमीन पर रविवार को आयोजित कार्यक्रम में लाखों की संख्या में लोग पहुंचे थे. घटनास्थल के सबसे नजदीकी मौसम केंद्र में अधिकतम तापमान 38 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया था. पवार ने नवी मुंबई के कामोठे स्थित एमजीएम अस्पताल का रविवार देर रात दौरा किया और वहां भर्ती लोगों का हालचाल लिया. यह भी पढ़ें : Maharashtra: ‘महाराष्ट्र भूषण’ कार्यक्रम में शामिल हुए 11 लोगों की तेज धूप के कारण मौत- मुख्यमंत्री शिंदे
पत्रकारों से बात करते हुए उन्होंने इस घटना को ‘‘बेहद दुर्भाग्यपूर्ण’’ करार दिया और कहा कि प्राथमिकता यह सुनिश्चित करना है कि मरीज जल्द से जल्द ठीक हो जाएं. राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) के नेता अजित पवार ने दावा किया कि यह महाराष्ट्र सरकार का कार्यक्रम था. सभी को पता है कि अप्रैल और मई में तापमान काफी अधिक रहता है. इन दिनों पारा 40 डिग्री सेल्सियस के आसपास तक पहुंच जाता है.
राकांपा नेता ने कहा, ‘‘इसलिए इस बात की जांच किए जाने की जरूरत है कि कार्यक्रम का आयोजन दिन में करने का फैसला किसका था?’’ पवार ने कहा कि कार्यक्रम शाम के समय भी किया जा सकता था और केंद्रीय मंत्री अमित शाह हेलीकॉप्टर के जरिए भी कार्यक्रम स्थल तक पहुंच सकते थे.
शाह ने रविवार को कार्यक्रम में आध्यात्मिक नेता एवं समाज सुधारक अप्पासाहेब धर्माधिकारी को महाराष्ट्र भूषण पुरस्कार से सम्मानित किया था.
नवी मुंबई के खारघर और उसके आसपास के विभिन्न अस्पतालों में मरीजों का इलाज चल रहा है, इसलिए अधिकारी अभी तक बीमार हुए लोगों का सटीक आंकड़ा नहीं बता पाए हैं. मुख्यमंत्री कार्यालय की ओर से रविवार रात जारी की गई प्रेस विज्ञप्ति के अनुसार, ‘‘ लू लगने के कारण कम से कम 11 लोगों की मौत हो गई.’’
पुलिस के एक अधिकारी ने बताया कि कुछ मरीजों को उपचार के बाद अस्पताल से छुट्टी दे दी गई, जबकि कुछ का अब भी इलाज चल रहा है और वे चिकित्सकों की निगरानी में हैं. मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने नवी मुंबई में एक अस्पताल के बाहर पत्रकारों को बताया कि कम से कम 50 लोगों को अस्पताल में भर्ती कराया गया था, जिनमें से 24 अब भी अस्पताल में भर्ती हैं और अन्य को प्राथमिक उपचार देने के बाद छुट्टी दे दी गई. उन्होंने लोगों के जान गंवाने की घटना को ‘‘बेहद दुर्भाग्यपूर्ण’’ करार दिया. शिंदे ने कहा कि जान गंवाने वाले लोगों के परिवार वालों को पांच-पांच लाख रुपये का मुआवजा दिया जाएगा.
निहारिका गोला
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