चंडीगढ़, पांच दिसंबर जानलेवा हमले में बाल-बाल बच जाने के एक दिन बाद बृहस्पतिवार को शिरोमणि अकाली दल (शिअद) के नेता सुखबीर सिंह बादल ने पंजाब के रूपनगर जिले में कड़ी सुरक्षा के बीच तख्त केशगढ़ साहिब के बाहर ‘सेवादार’ के रूप में सेवा दी।
‘जेड प्लस’ सुरक्षा प्राप्त पूर्व उपमुख्यमंत्री बादल सुरक्षाकर्मियों के घेरे में आनंदपुर साहिब पहुंचे। वह ‘सेवादार’ की नीली वर्दी में एक हाथ में भाला लेकर गुरद्वारे के प्रवेश द्वार पर बैठ गये।
वह 2007-2017 के बीच पंजाब में शिअद सरकार और पार्टी द्वारा की गयी ‘गलतियों’ के लिए सिखों के सर्वोच्च धार्मिक निकाय अकाल तख्त द्वारा सुनायी गयी धार्मिक सजा का पालन कर रहे हैं।
अकाल तख्त ने उन्हें अमृतसर के स्वर्ण मंदिर के अलावा तख्त केशगढ़, तख्त दमदमा साहिब तथा मुक्तसर के दरबार साहिब एवं फतेहगढ़ साहिब में दो-दो दिन के लिए ‘सेवादार’ के रूप सेवा करने का निर्देश दिया है।
स्वर्ण मंदिर में अपने प्रायश्चित के दूसरे दिन बुधवार को बादल तब बाल-बाल बच गए, जब एक पूर्व खालिस्तानी आतंकवादी ने उन पर नजदीक से गोली चलाई। बादल बच गए क्योंकि वहां सादे कपड़ों में मौजूद पुलिसकर्मियों ने हमलावर को पकड़ लिया, जिससे उसका निशाना चूक गया था। गोली बादल के बजाय पीछे दीवार में लगी।
पुलिस ने तख्त केशगढ साहिब में बादल के पहुंचने से पहले व्यापक सुरक्षा व्यवस्था की है।
रूपनगर के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक गुलनीत सिंह खुराना ने कहा कि अभेद्य सुरक्षा व्यवस्था की गयी है।
अधिकारियों ने बताया कि सादे कपड़ों में पुलिसकर्मियों को तैनात किया गया है और वे पूरी तरह सतर्क हैं।
गुरद्वारे में बादल के अलावा शिअद नेता एवं कार्यकर्ता भी मौजूद हैं।
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