जालंधर, 10 मई: पंजाब में जालंधर लोकसभा सीट पर बुधवार को हो रहे उपचुनाव में दोपहर बाद एक बजे तक 30.93 प्रतिशत से अधिक मतदाताओं ने मताधिकार का इस्तेमाल किया. निर्वाचन अधिकारी ने इसकी जानकारी दी. अधिकारी ने बताया कि कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच सुबह आठ बजे मतदान प्रारंभ हुआ जो शाम छह बजे तक जारी रहेगा. यह भी पढ़ें: Punjab: जालंधर लोकसभा उपचुनाव के लिए शुरुआती एक घंटे में 5.21 प्रतिशत मतदान
जालंधर से कांग्रेस सांसद संतोख सिंह सिंह चौधरी का इस साल जनवरी में ‘‘भारत जोड़ो यात्रा’’ के दौरान दिल का दौरा पड़ने से निधन हो गया था, जिसके बाद रिक्त हुयी इस संसदीय सीट पर उपचुनाव कराया जा रहा है. पंजाब में सत्तारूढ़ आम आदमी पार्टी, मुख्य विपक्षी कांग्रेस, शिरोमणि अकाली दल और भारतीय जनता पार्टी के बीच इस सीट पर मुकाबला चतुष्कोणीय है. दलित बहुल सीट पर चारों राजनीतिक दल एक दूसरे के साथ हाथ आजमाने के लिये मैदान में हैं .
निर्वाचन आयोग के आंकड़ों के मुताबिक, जालंधर लोकसभा सीट पर जारी उपचुनाव के लिए दोपहर बाद एक बजे तक 30.93 फीसदी मतदान हुआ है. जिन प्रमुख लोगों ने उपचुनाव के लिये मतदान किया उनमें कांग्रेस उम्मीदवार करमजीत कौर चौधरी, आम आदमी पार्टी के उम्मीदवार सुशील रिंकू, कांग्रेस विधायक परगट सिंह और ‘आप’ सांसद बलबीर सिंह सीचेवाल शामिल हैं.
पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान ने ट्वीट कर जालंधर संसदीय सीट के मतदाताओं से बड़ी संख्या में अपने मताधिकार का उपयोग करने की अपील की है. क्षेत्र में कुल 16,21,800 मतदाता हैं. इनमें से 8,44,904 पुरुष मतदाता, 7,76,855 महिला मतदाता और 41 ट्रांसजेंडर हैं. चुनाव मैदान में कुल 19 प्रत्याशी किस्मत आजमा रहे हैं जिनमें चार महिलाएं हैं। मतगणना 13 मई को होगी.
कांग्रेस सांसद संतोख सिंह चौधरी के निधन के बाद जालंधर लोकसभा (सुरक्षित) सीट खाली हो गयी थी। चौधरी को इस साल जनवरी में फिल्लौर में कांग्रेस की ‘‘भारत जोड़ो यात्रा’’ के दौरान दिल का दौरा पड़ा था। इस सीट पर कांग्रेस से दिवंगत संतोख सिंह चौधरी की पत्नी करमजीत कौर, कांग्रेस छोड़कर ‘आप’ में आए पूर्व विधायक सुशील रिंकू और शिरोमणि अकाली दल छोड़कर भाजपा में आए दलित सिख इंद्र इकबाल सिंह अटवाल मैदान में हैं.
अटवाल पंजाब विधानसभा के पूर्व अध्यक्ष चरणजीत सिंह अटवाल के पुत्र हैं. चरणजीत सिंह अटवाल भी भाजपा में शामिल हो चुके हैं. अकाली दल ने अपने दो बार के विधायक सुखविंदर कुमार सुक्खी को प्रत्याशी बनाया है. सत्तारूढ़ आम आदमी पार्टी को उपचुनाव में जीत हासिल करने और लोकसभा में अपनी मौजूदगी सुनिश्चित करने की उम्मीद है. मार्च 2022 में प्रचंड बहुमत से पंजाब की सत्ता में आई ‘आप’ को तीन महीने बाद ही संगरूर लोकसभा उपचुनाव में हार का सामना करना पड़ा था इसलिए उसके लिए यह चुनाव और अहम हो गया है.
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