नयी दिल्ली, 20 अप्रैल राष्ट्रीय राजधानी में बुधवार को कोविड-19 के 1,009 नए मामले सामने आए, जो एक दिन पहले की तुलना में 60 प्रतिशत अधिक हैं, जबकि संक्रमण से एक व्यक्ति की मौत हो गई। इस बीच, दिल्ली सरकार ने सार्वजनिक स्थान पर मास्क पहनना एक बार फिर अनिवार्य कर दिया है और इसका उल्लंघन करने पर 500 रुपये के जुर्माने की घोषणा की है।
यह आंकड़ा 10 फरवरी के बाद से दिल्ली में दर्ज किए गए मामलों की अधिकतम संख्या है। दिल्ली में 10 फरवरी को कोविड-19 के 1,104 मामले सामने आए थे। स्वास्थ्य बुलेटिन में कहा गया है कि एक दिन पहले कुल 17,701 नमूनों की कोविड-19 संबंधी जांच हुई थी, जिनमें से 5.7 प्रतिशत में संक्रमण की पुष्टि हुई।
दिल्ली में मंगलवार को कोविड के 632 मामलों के साथ संक्रमण दर 4.42 प्रतिशत दर्ज की गई थी। इससे एक दिन पहले 501 मामले आए और संक्रमण दर 7.72 प्रतिशत रही। राजधानी में संक्रमण बढ़ने के साथ ही 11 अप्रैल को उपचाराधीन रोगियों की संख्या 601 से बढ़कर 2,641 हो गई। हालांकि, अस्पताल में भर्ती होने की दर अब तक कम ही है। यह कुल उपचाराधीन मामलों के तीन प्रतिशत से भी कम है।
दिल्ली के अस्पतालों में इस समय कोविड-19 के 54 मरीज भर्ती हैं। इनमें 1,578 गृह पृथक-वास में उपचाराधीन हैं। अस्पतालों में कोविड-19 के मरीजों के लिए उपलब्ध 9,737 बिस्तरों में से सिर्फ 91 पर ही कोविउ-19 के मरीज हैं।
मामलों में वृद्धि को देखते हुए दिल्ली सरकार ने बुधवार को सार्वजनिक स्थानों पर मास्क पहनना अनिवार्य कर दिया और इसका उल्लंघन करने वालों पर 500 रुपये का जुर्माना लगाने की घोषणा की। दिल्ली सरकार ने मामलों में कमी के मद्देनजर 12 अप्रैल को मास्क नहीं पहनने पर जुर्माना हटा लिया था।
अधिकारियों ने कहा कि दिल्ली आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (डीडीएमए) ने भी स्कूलों को बंद नहीं करने का फैसला किया है और वह विशेषज्ञों के परामर्श से एक अलग मानक संचालन प्रक्रिया (एसओपी) के साथ आएगा। दिल्ली ने राजधानी में सभी संक्रमितों के नमूनों का जीनोम अनुक्रमण भी शुरू कर दिया है ताकि यह पता लगाया जा सके कि क्या किसी नए स्वरूप जैसे कि एक्सई स्वरूप का संक्रमण तो दिल्ली में नहीं फैल गया है।
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