Kojagari Laxmi Puja 2022 Wishes: कोजागरी लक्ष्मी पूजा की इन WhatsApp Stickers, Facebook Messages, GIF Greetings के जरिए दें शुभकामनाएं
कोजागरी पूर्णिमा यानी शरद पूर्णिमा के दिन माता लक्ष्मी धरती पर भ्रमण करती हैं और कहा जाता है कि रात रात्रि जागरण करने वाले व्यक्ति का महालक्ष्मी कल्याण करती हैं. कोजागरी लक्ष्मी पूजा के इस खास अवसर पर आप इन शानदार विशेज, वॉट्सऐप स्टिकर्स, फेसबुक मैसेजेस, जीआईएफ ग्रीटिंग्स को भेजकर अपने दोस्तों-रिश्तेदारों को प्यार भरी शुभकामनाएं दे सकते हैं.
Kojagari Laxmi Puja 2022 Wishes: इस साल 9 अक्टूबर को पुण्य और स्वास्थ्य लाभ प्रदान करने वाली शरद पूर्णिमा (Sharad Purnima) है, जिसे कोजागरी पूर्णिमा (Kojagari Purnima) भी कहा जाता है. प्रचलित मान्यताओं के अनुसार, शरद पूर्णिमा की रात धन व ऐश्वर्य की देवी मां लक्ष्मी (Maa Laxmi) पृथ्वी पर भ्रमण करती हैं. इसके साथ ही कहा जाता है कि इस पावन रात्रि को भगवान श्रीकृष्ण ने गोपियों के साथ महारास रचाया था. कोजागरी पूर्णिमा के त्योहार को वैसे तो पूरे देश में धूमधाम से मनाया जाता है, लेकिन ओडिशा, पश्चिम बंगाल और असम में यह पर्व देवी लक्ष्मी को समर्पित है. कोजागरी पूर्णिमा को पश्चिम बंगाल में 'बंगला लक्ष्मी पूजा' (Bangla Laxmi Puja) के तौर पर मनाया जाता है और इस दिन देवी लक्ष्मी की विधि-विधान से पूजा-अर्चना की जाती है, जबकि देश के अधिकांश हिस्सों में दिवाली के दिन देवी लक्ष्मी की पूजा की जाती है.
कोजागरी पूर्णिमा यानी शरद पूर्णिमा के दिन माता लक्ष्मी धरती पर भ्रमण करती हैं और कहा जाता है कि रात रात्रि जागरण करने वाले व्यक्ति का महालक्ष्मी कल्याण करती हैं. कोजागरी लक्ष्मी पूजा के इस खास अवसर पर आप इन शानदार विशेज, वॉट्सऐप स्टिकर्स, फेसबुक मैसेजेस, जीआईएफ ग्रीटिंग्स को भेजकर अपने दोस्तों-रिश्तेदारों को प्यार भरी शुभकामनाएं दे सकते हैं.
1- कोजागरी लक्ष्मी पूजा 2022
2- कोजागरी लक्ष्मी पूजा 2022
3- कोजागरी लक्ष्मी पूजा 2022
4- कोजागरी लक्ष्मी पूजा 2022
5- कोजागरी लक्ष्मी पूजा 2022
गौरतलब है कि कोजागरी पूर्णिमा की रात को दीपावली से भी ज्यादा खास और महत्वपूर्ण माना जाता है, क्योंकि इस रात स्वयं मा लक्ष्मी अपने भक्तों पर आशीर्वाद बरसाती हैं. कहा जाता है कि इस रात विधि-विधान से मां लक्ष्मी की पूजा करने से भक्तों को धन और ऐश्वर्य की प्राप्ति होती है. शरद पूर्णिमा की रात को लेकर कहा जाता है कि इस रात चंद्रमा अपनी सोलह कलाओं से परिपूर्ण होता है और पूर्णिमा की रात में चंद्रमा की रोशनी औषधीय गुणों से भरपूर होती है, इसलिए इस दिन खीर बनाकर चंद्रमा की रोशनी में रखा जाता है, जिससे चंद्रमा के औषधीय गुण खीर में आ जाते हैं. इस खीर को ग्रहण करने से उत्तम स्वास्थ्य का वरदान मिलता है.