लखनऊ: उत्तर प्रदेश के कौशाम्बी जिला के परिषदीय स्कूलों के करीब ढाई लाख सरकारी किताबों से राष्ट्रगान ‘उत्कल बंग’ शब्द गायब हो गया है. जिसके बाद कौशाम्बी समेत पूरे उत्तर प्रदेश में सरकार के खिलाफ बवाल मचा हुआ है. दरअसल कक्षा-5 की हिंदी की किताब में राष्ट्रगान लिखा है, लेकिन उसमें ‘उत्कल, बंग’ शब्द नहीं है. मामले में बवाल बढ़ने के बाद शिक्षा विभाग, प्रकाश के खिलाफ नोटिस जारी करने की बात का रहा है. वहीं कांग्रेस इसे मुद्दा बनाकर बीजेपी के को घेरने की कोशिश कर रही है.
वहीं मामले में विवाद बढ़ने पर किताब के प्रकाशक का कहना है कि सिर्फ ढाई लाख किताबों में ‘उत्कल बंग’ शब्द गायब है. क्योंकि प्लेट से दो शब्द गायब हो गए हैं. बाकी करीब 15 लाख किताबों में कोई गलती नहीं है. वहीं मामले में विद्यालयों के शिक्षकों का कहना है कि गलती किताब छापने में हुई है. ऐसे में बेसिक शिक्षा अधिकारियों को किताबें वितरित होने से पहले इस पर ध्यान देना चाहिए था. स्कूल के शिक्षकों का कहना है कि राष्ट्रगान से उत्कल और बंगाल प्रान्त का नाम हटाने का मतलब राष्ट्रगान की मूल भावना को ही खत्म कर देना है. यह भी पढ़े: पेपर चेकिंग में लापरवाही करने वाले शिक्षकों की अब खैर नहीं, जुर्माने के साथ छपेगा नाम
शासन ने ये किताबें कौशांबी के परिषदीय विद्यालय में भेजी हैं. जिस किताब में गलत राष्ट्रगान छपा है. उनका नाम है "वाटिका". यह कक्षा-5 में पढ़ाई जाती है. इस किताब के आखिरी पेज पर राष्ट्रगान लिखा है. इसमें पंजाब-सिंध-गुजरात-मराठा-द्राविड़...के बाद उत्कल बंग शब्द नहीं है. फिर सीधे 5वीं लाइन विंध्य-हिमाचल-यमुना-गंगा...से शुरू है. यह गलती एक-दो किताबों में नहीं, बल्कि 5वीं की सभी किताबों में है.
बेसिक शिक्षा अधिकारी प्रकाश सिंह के अनुसार पुस्तक में राष्ट्रगान गलत प्रकाशित होने की जानकारी मिलने पर बेसिक शिक्षा विभाग के वरिष्ठ अफसरों को सूचना देने के साथ ही तत्काल प्रभाव से पुस्तक वितरण पर रोक लगा दी गई है. अब भंडार गृह से विद्यालयों को किताबें नहीं भेजी जाएंगी. साथ ही स्कूलों में वितरित किताबें बच्चों से वापस लेने के निर्देश दिए गए हैं.