मुंबई में खुला 'झोपड़पट्टी होटल', किराया सिर्फ 2280 रुपए, जानें और क्या है खास
देश की आर्थिक राजधानी मुंबई में सैकड़ों स्लम बस्तियां हैं. लेकिन इनमें एक बस्ती ऐसी भी है जो बहुत ही खास है. ऐसा इसलिए क्योकि इस बस्ती में बनी एक झोपड़ी कोई आम झोपड़ी नहीं बल्कि एक प्रकार का होटल है.
मुंबई: देश की आर्थिक राजधानी मुंबई में सैकड़ों स्लम बस्तियां हैं. लेकिन इनमें एक बस्ती ऐसी भी है जो बहुत ही खास है. ऐसा इसलिए क्योकि इस बस्ती में बनी एक झोपड़ी कोई आम झोपड़ी नहीं बल्कि एक प्रकार का होटल है. दरअसल एक एनजीओ में काम करने वाले डच कार्यकर्ता की सलाह के बाद एक झोपड़पट्टी वासी ने 'झोपड़पट्टी होटल' खोला है. जहां पर टूरिस्ट आते है और मात्र 2280 रुपए देकर एक झोपड़ी में रात गुजारकर अनुभव लेते है.
जानकारी के मुताबिक, मुंबई के खार डांडा झोपड़पट्टी में रहने वाले रवि सांसी ने यह 'झोपड़पट्टी होटल' शुरू किया है. उनकों इस अनोखे बिजनेस का आईडिया डच कार्यकर्ता डेविड बिजिल ने दिया. जिनका एकमात्र मकसद परिवार के लिए अतिरिक्त कमाई का जरिया बनाना था.
सांसी ने इस होटल को बनाने के लिए अपने घर के मचान को एक कमरे में बदल दिया है. इस कमरे में एक एसी और एक टीवी लगा है और दीवारों को पेंट कर दिया गया है. हालांकि यहा रहन सहन एक झोपड़पट्टी के रहन सहन बिल्कुल वैसे ही है, जिस तरीके से खुद सांसी और बाकी लोग रहते हैं.
इस होटल में रहने वाले लोगों को ठीक वैसे ही माहौल मिलता जैसा की एक झुग्गी झोपड़ियों में रहने वाले लोगो को. यहां तक इसमें पैसे देकर किराए पर लेनेवाले टूरिस्ट तक को सार्वजनिक शौचालय का उपयोग करना पड़ता है. यहां दीवारों से पेंट भी नीचे गिरता है. जिससे टूरिस्टों को स्लम के जीवन की असलियत से रू-ब-रू कराया जा सके.