Maharashtra CM Oath Ceremony: महाराष्ट्र की कमान किसके हाथों में? फडणवीस, शिंदे या पवार? 29 नवंबर को हो सकता है सीएम पद को लेकर शपथ ग्रहण
महाराष्ट्र चुनाव परिणाम आने के बाद मुख्यमंत्री पद को लेकर शपथ ग्रहण कब होगा. हर कोई कोई जानना चाहता है. लेकिन इंतेजार की वह घडी लोगों की खत्म हुई. प्रदेश में चुनाव के बाद 29 नवंबर को शपथ ग्रहण समारोह हो सकता है.
Maharashtra CM Oath Ceremony : महाराष्ट्र चुनाव परिणाम आने के बाद मुख्यमंत्री पद को लेकर शपथ ग्रहण कब होगा. हर कोई कोई जानना चाहता है. लेकिन इंतेजार की वह घड़ी लोगों की खत्म हुई. क्प्रयोंकि चुनाव के बाद 29 नवंबर को सीएम पद को लेकर शपथ ग्रहण समारोह हो सकता है. जिसके बारे में अधिकारिक रूप से अभी ऐलान होना अभी बाकि है. हालांकि अभी भी सीएम पद को लेकर सस्पेंस बना हुआ है कि महायुती की तरफ से फडणवीस, शिंदे या पवार को किसके हाथों में महाराष्ट्र की कमान सौंपी जाएगी. लेकिन सीएम की रेस में महायुती की तरफ से बीजेपी नेता देवेंद्र फडणवी सबसे आगे चल रहे हैं
हालांकि शिंदे गुट की तरफ से भी दावा किया जा रहा है कि एकनाथ शिंदे को प्रदेश की कमान एक बार फ्री से दी जाये. क्योंकि एकनाथ शिंदे ने ढाई साल बतौर मुख्यमंत्री बेहतरीन काम किया है, जिसके दम पर महायुति ने सत्ता में वापसी की है. ऐसे में मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे को बनाना चाहिए.
NCP ने अजित पवार को सीएम बनाने की मांग की:
महायुती में देवेंद्र फडणवी और शिंदे के बीच NCP ने अजति पावर को सीएम पद के बनाने के मांग की हैं. एनसीपी के वरिष्ठ नेता छगन भुजबल ने दावा किया है कि एनसीपी का चुनाव में स्ट्राइक रेट अच्छा रहा है ऐसे में अजित पवार भी मुख्यमंत्री बन सकते हैं.
संजय राउत ने राज्य में दोबारा चुनाव कराने की मांग की:
महाराष्ट्र में जहां महायुती सरकार बनाने को लेकर तैयारी का रही है. वहीं शिवसेना UBT के संजय राउत ने ईवीएम में गड़बड़ियों का सोमवार को आरोप लगाते हुए महाराष्ट्र में मतपत्रों के जरिए दोबारा चुनाव कराए जाने की मांग की. राउत ने पत्रकारों से बात करते हुए आरोप लगाया कि ईवीएम में गड़बड़ी की कई शिकायतें मिली हैं और उन्होंने हाल में हुए चुनावों की निष्पक्षता पर सवाल उठाया.
जानें महायुती और MVA को कितनी मिली सीटें:
भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के नेतृत्व वाले महायुति गठबंधन ने विधानसभा चुनाव में 288 में से 230 सीट जीतीं जबकि विपक्षी महा विकास आघाडी (एमवीए) को 46 सीट पर जीत मिली। एमवीए में शामिल शिवसेना (उबाठा) ने 95 सीट पर चुनाव लड़कर मात्र 20 सीट जीतीं.