सोशल मीडिया पर उठी सोफिया को रिहा करने की मांग, स्टालिन बोले- मैं भी लगाउंगा नारे

सुंदरराजन ने बाद में मीडिया को बताया कि छात्रा जिस तरह से प्रदर्शन कर रही थी, उससे लगा जैसे वह अपने जीवन के लिए खतरा मान रही थी.

स्टालिन (Photo Credit-PTI)

चेन्नई: तमिलनाडु के तूतीकोरिन एयरपोर्ट पर बीजेपी के खिलाफ नारेबाजी के आरोप में एक महिला की गिरफ्तारी पर मामला सियासी हो चला है. डीएमके प्रमुख एम के स्टालिन ने गिरफ्तारी की निंदा करते हुए इसे बोलने की आजादी पर हमला करार दिया है. साथ ही स्टालिन ने नारा लगाने वाली महिला सोफिया की गिरफ्तारी के लिए राज्य सरकार को जिम्मेदार ठहराते हुए इसे लोकतंत्र पर हमला बताया. उन्होंने एक ट्वीट में लिखा, "यह मामला लोकतंत्र और बोलने की आजादी के खिलाफ है.

गौरतलब है कि लुई सोफिया नाम की यह महिला विमान में तमिलनाडु बीजेपी अध्यक्ष तमिलसाई सुंदरराजन के साथ ही सफर कर तूतीकोरिन पहुंची थी. सुंदरराजन जैसे ही अपना सामान लेने लगेज बॉक्स के पास पहुंचीं, महिला ने 'फासीवादी बीजेपी सरकार हाय-हाय' के नारे लगाने शुरू कर दिए. नारेबाजी से परेशान सुंदरराजन और सोफिया के बीच हल्की बहस भी हुई. जिसके बाद सुंदरराजन की शिकायत पर पुलिस ने सोफिया को गिरफ्तार कर लिया.जिसके बाद महिला को 15 दिन की न्यायिक हिरासत में कोकिराकुलम जेल भेज दिया.

विमान के यहां उतरने के बाद भाजपा नेता ने छात्रा के साथ बहस की। उन्होंने पुलिस के समक्ष मामला दर्ज कराया, जिसके बाद छात्रा को गिरफ्तार कर लिया.

वही सोशल मीडिया पर सोफिया की रिहाई को लेकर लोग जमकर ट्वीट कर रहे है. पेश है वे ट्वीट्स-

 

सुंदरराजन ने बाद में मीडिया को बताया कि छात्रा जिस तरह से प्रदर्शन कर रही थी, उससे लगा जैसे वह अपने जीवन के लिए खतरा मान रही थी.

BJP नेता ने कहा, "वह एक आम इनसान नहीं है। उसके प्रदर्शन के पीछे जरूर किसी संगठन का हाथ है, जिसकी जांच होनी चाहिए."

माकपा, भाकपा और पीएमके ने पुलिस की कार्रवाई की निंदा की है और महिला की तत्काल रिहाई की मांग की है. उन्होंने कहा कि घटना सिर्फ यह बता रही है कि केंद्र सरकार के खिलाफ युवाओं में गुस्सा है. पार्टियों ने कहा कि सुंदरराजन को मामले में 'तिकड़म' करने के बजाए परिपक्व तरीके से संभालना चाहिए था.

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