महाराष्ट्र: उद्धव ठाकरे और शरद पवार के बीच CAA और NPR को लेकर तनातनी, NCP चीफ ने कही ये बात

महाविकास अघाड़ी की तीन पहियों की सरकार में CAA, NPR और NRC को लेकर खींचतान शुरू हो गई है. एक तरफ जहां सूबे के मुख्यमंत्री उद्धव ठकारे (CM Uddhav Thackeray) हैं तो दूसरी तरफ एनसीपी सुप्रीमो शरद पवार (NCP Chief Sharad Pawar) हैं. दरअसल महाराष्ट्र मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने मीडिया से चर्चा के दौरान कहा कि CAA और NRC दोनों अलग हैं और NPR अलग है. अगर CAA लागू होता है तो किसी को चिंता करने की जरूरत नहीं है. राज्य में NRC लागू नहीं किया जाएगा. वहीं शरद पवार ने कहा है कि सीएए-एनआरसी-एनपीआर पर उद्धव ठाकरे का अपना नजरिया है लेकिन जहां तक एनसीपी का सवाल है, हमने इसके खिलाफ वोट किया है.

शरद पवार/ सीएम उद्धव ठाकरे ( फोटो क्रेडिट- Facebook )

मुंबई:- महाविकास अघाड़ी की तीन पहियों वाली सरकार में CAA, NPR और NRC को लेकर खींचतान शुरू हो गई है. एक तरफ जहां सूबे के मुख्यमंत्री उद्धव ठकारे (CM Uddhav Thackeray) हैं तो दूसरी तरफ एनसीपी सुप्रीमो शरद पवार (NCP Chief Sharad Pawar) हैं. दरअसल महाराष्ट्र मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने मीडिया से चर्चा के दौरान कहा कि CAA और NRC दोनों अलग हैं और NPR अलग है. अगर CAA लागू होता है तो किसी को चिंता करने की जरूरत नहीं है. राज्य में NRC लागू नहीं किया जाएगा. वहीं शरद पवार ने कहा है कि सीएए-एनआरसी-एनपीआर पर उद्धव ठाकरे का अपना नजरिया है लेकिन जहां तक एनसीपी का सवाल है, हमने इसके खिलाफ वोट किया है.

वहीं इस घमासान के बीच महाराष्ट्र मंत्री और NCP नेता जितेंद्र आव्हाड ने शांति बनाए रखने की कोशिश करते हुए कहा है कि मैंने उद्धव ठाकरे जी से बात की, उन्होंने बोला 2021 की जो जनगणना होगी, महाराष्ट्र सरकार जनगणना के लिए पूरा सहयोग करेगी. लेकिन जनगणना के पहले अगर कोई कुछ करना चाहेगा तो महाराष्ट्र सरकार उसमें हिस्सा नहीं ​लेगी.

शरद पवार ने कहा:- 

जितेंद्र आव्हाड ने कहा:- 

गौरतलब हो कि बीजेपी और शिवसेना ने एक साथ मिलकर विधानसभा चुनाव लड़ा था. लेकिन सीएम की कुर्सी और लगातार बढ़ते मतभेद के कारण शिवसेना ने हमेशा से रहे अपने विरोधी दल कांग्रेस और एनसीपी से हाथ मिला लिया. इसके साथ ही उद्धव ठाकरे सीएम बनकर महाराष्ट्र की बागड़ोर संभाल लिया. लेकिन उद्धव के लिए यह तीन पहिया की सवारी इतनी आसान नहीं मानी जा रही है. क्योंकि कभी हिंदुत्व का मुद्दा लेकर बीजेपी के साथ कंधे से कंधा मिलाने वाली शिवसेना कैसे उससे अलग हो सकती है. वहीं उनके भाई और मनसे प्रमुख राज ठाकरे ने हिंदुत्व के मुद्दे को धीरे-धीरे अपनाना शुरू कर दिया है.

Share Now

\