JNUSU चुनाव 2018: ABVP को झटका, छात्रसंघ चुनाव में चारों पदों पर लहराया लेफ्ट का परचम
जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय छात्रसंघ (जेएनयूएसयू) चुनावों के लिए मतगणना 15 घंटे की रोक के बाद रविवार को दोबारा शुरू हुई. जिसके बाद आए नतीजों में यूनाइटेड लेफ्ट ने छात्रसंघ की सभी चारों पदों पर जीत दर्ज की है. वहीं जेएनयूएसयू चुनाव रिजल्ट सामने आने के बाद अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (एबीवीपी) को करारा झटका लगा है.
नई दिल्ली: जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय छात्रसंघ (जेएनयूएसयू) चुनावों के नतीजों में यूनाइटेड लेफ्ट ने छात्रसंघ की सभी चारों पदों पर जीत दर्ज की है. वहीं जेएनयूएसयू चुनाव रिजल्ट सामने आने के बाद अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (एबीवीपी) को करारा झटका लगा है. वामपंथी छात्र संगठनों आइसा, एसएफआई, एआईएसएफ और डीएसएफ के संयुक्त मोर्चा ने सभी चार पदों पर संयुक्त उम्मीदवार उतारा था. अंतिम रिजल्ट आने के बाद लेफ्ट का समर्थन करनेवाले छात्रों में जोश की लहर है.
ताजा जानकारी के मुताबिक जेएनयूएसयू के छात्रसंघ के अध्यक्ष पद और उपाध्यक्ष पद के लिए रेस में सबसे आगे यूनाइटेड लेफ्ट के उम्मीदवार थे जिन्होंने अंत तक बढ़त बरकरार रखी. अध्यक्ष पद पर लेफ्ट यूनिटी के उम्मीदवार एन साई बालाजी, उपाध्यक्ष पद पर सारिका चौधरी, महासचिव पद पर एजाज अहमद राठर और संयुक्त सचिव पद पर लेफ्ट के अमुथा जयदीप ने जीत हासिल की. इस तरह जेएनयू एक फिर लालमय हो गया है.
हालांकि शुरुआती रुझानों में सबसे आगे चल रही एबीवीपी अंत तक दूसरे नंबर पर खिसक आई. वर्तमान में जेएनयू के सभी पदों पर वाम दलों का कब्जा है. जेएनयू को लाल झंडे का गढ़ माना जाता है.
गौरतलब हो कि शनिवार को मतगणना को उस समय रोक दिया गया, जब एक राजनीतिक दल के दो प्रमुख उम्मीदवार अपने समर्थकों के साथ मतगणना केंद्र में घुसे और बैलेट बॉक्स छीनने की कोशिश करने लगे. जिसके बाद मतगणना 15 घंटे की रोक के बाद रविवार को दोबारा शुरू हुई.
शुक्रवार को जेएनयू में हुए छात्र संघ चुनाव में 7650 मतों में 5185 मत पड़े जो कि अब तक की सबसे ज्यादा 70 फीसदी वोटिंग थी. जेएनयू छात्र संघ चुनाव के इतिहास में अब तक इतनी वोटिंग कभी नहीं हुई थी. पहली बार इतनी बड़ी संख्या में छात्र-छात्राओं ने मतदान में हिस्सा लिया.
चुनाव अध्यक्ष, उपाध्यक्ष, महासचिव और संयुक्त सचिव पदों के लिए हुए. मौजूदा समय में सभी चारों पदों पर क्रमश: वाम दल की गीता कुमारी, सिमोन जोया खान, दुग्गीराला श्रीकृष्णा और शुभांशु सिंह काबिज हैं.