नई दिल्ली, 30 सितम्बर: पंजाब के पूर्व मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह (Captain Amarinder Singh) गुरुवार शाम करीब साढ़े तीन बजे दिल्ली (Delhi ) से वापस चंडीगढ़ (Chandigarh) के लिए रवाना हो गए. अपने तीन दिवसीय दौरे में कैप्टन राजनीतिक तौर पर बेहद सक्रीय रहे है. इस दौरान उन्होंने कांग्रेस पार्टी छोड़ने का भी ऐलान कर दिया. उन्होंने अपने ट्विटर हैंडल से कांग्रेस शब्द भी हटा दिया. हालांकि पंजाब रवाना होने से पहले उन्होंने ये जरूर साफ कर दिया कि वो कांग्रेस जरूर छोड़ रहे हैं लेकिन बीजेपी में शामिल नहीं होंगे.
उन्होंने ये भी कहा कि कांग्रेस पार्टी के शीर्ष नेतृत्व की तरफ से उन्हें जिस अपमान का सामना करना पड़ा उससे वह बेहद आहत हैं. इस बीच ये उम्मीद लगाई जा रही है कि संकट से घिरी कांग्रेस को मझधार में छोड़कर कैप्टन अमरिंदर सिंह एक नई पार्टी का भी गठन कर सकते हैं. जबकि पंजाब में अगले साल ही विधानसभा के चुनाव होने हैं. ऐसे में इसका सीधा फायदा बीजेपी को मिल सकता है. इससे पहले गुरुवार सुबह कैप्टन ने दिल्ली में राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (एनएसए) अजित डोभाल से मुलाकात की. दरअसल ये मुलाकात इसलिए अहम मानी जा रही है क्योंकि कैप्टन से मुलाकात के तुरंत बाद एनएसए डोभाल ने केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से मुलाकात की. यह भी पढ़े: गृहमंत्री अमित शाह के बाद अब NSA अजित डोभाल से मिले कैप्टन अमरिंदर सिंह
हालांकि बुधवार शाम को कैप्टन ने गृह मंत्री अमित शाह से भी मुलाकात की थी. दोनों नेताओं के बीच करीब 50 मिनट तक बातचीत हुई थी. जिसके बाद अमरिंदर सिंह ने ये जानकारी दी थी कि उन्होंने गृह मंत्री से कृषि कानूनों को निरस्त करने और न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) की गारंटी देकर, किसान आंदोलन को जल्दी खत्म करने का अनुरोध किया है. जिसके इस बीच दोनों नेताओं के बीच राजनीतिक चर्चा होने के भी कयास लगाए जा रहे हैं. गौरतलब है कि अमरिंदर सिंह लगातार नवजोत सिंह सिद्धू के पाकिस्तानी कनेक्शन को उठाकर उन्हे पंजाब और राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए खतरा बताते रहे हैं और अमरिंदर सिंह के इन्ही बयानों का सहारा लेकर भाजपा भी लगातार सिद्धू और कांग्रेस आलाकमान पर निशाना साधती रही है. हालांकि अपने तीन दिवसीय दौरे के दौरान कैप्टन ने किसी भी कांग्रेस नेता से मुलाकात नहीं की.