
Protest Against Waqf Amendment Bill: संसद में इस हफ्ते पारित वक्फ संशोधन बिल के खिलाफ शुक्रवार को जुमे की नमाज़ के बाद देश के कई बड़े शहरों में मुस्लिम समुदाय ने जोरदार प्रदर्शन किया. कोलकाता, चेन्नई और अहमदाबाद की सड़कों पर हजारों की संख्या में लोग उतर आए और बिल को 'मुस्लिम विरोधी' करार देते हुए इसे तत्काल रद्द करने की मांग की.
कोलकाता में राष्ट्रध्वज और पोस्टरों के साथ विरोध
पश्चिम बंगाल की राजधानी कोलकाता में प्रदर्शनकारियों की भारी भीड़ देखी गई, जो 'हम वक्फ संशोधन को खारिज करते हैं' और 'Reject Waqf Bill' जैसे पोस्टर लिए हुए थीं. कई प्रदर्शन स्थलों पर लोग राष्ट्रीय ध्वज भी लहरा रहे थे. समाचार एजेंसी ANI के मुताबिक, इन प्रदर्शनों का आयोजन जॉइंट फोरम फॉर वक्फ प्रोटेक्शन ने किया.
अहमदाबाद में पुलिस और प्रदर्शनकारियों के बीच झड़प
अहमदाबाद से सामने आए दृश्यों में माहौल कुछ ज्यादा तनावपूर्ण नजर आया. ANI द्वारा साझा किए गए एक वीडियो में देखा जा सकता है कि पुलिस वृद्ध प्रदर्शनकारियों को जबरन हटाने की कोशिश कर रही है, जो सड़क पर बैठकर शांतिपूर्वक विरोध कर रहे थे.
#WATCH | Ahmedabad: Various Muslim organisations hold protests against the Waqf Amendment Bill. pic.twitter.com/viavsuqf3D
— ANI (@ANI) April 4, 2025
चेन्नई में तमिल अभिनेता विजय की पार्टी का नेतृत्व
चेन्नई में विरोध प्रदर्शनों का नेतृत्व अभिनेता से राजनेता बने विजय की पार्टी तमिलगा वेत्त्री कषगम (TVK) ने किया. पार्टी ने राज्यव्यापी प्रदर्शन की घोषणा की थी और चेन्नई के साथ-साथ कोयंबटूर व तिरुचिरापल्ली जैसे प्रमुख शहरों में कार्यकर्ताओं ने जोरदार प्रदर्शन किया. नारे लगे— 'Reject the Waqf Bill' और 'मुस्लिमों के अधिकार मत छीनो'.
विजय ने वक्फ बिल को "गैर-लोकतांत्रिक" बताया और कहा कि यह भारत की धर्मनिरपेक्ष नींव पर सवाल खड़ा करता है. उन्हें आगामी विधानसभा चुनावों में एक "डार्क हॉर्स" के तौर पर देखा जा रहा है.
ममता बनर्जी का तीखा हमला, बिल को वापस लेने की मांग
पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने भी इस मुद्दे पर तीखी प्रतिक्रिया दी. उन्होंने कहा कि वह राज्य के मुसलमानों की जमीनें नहीं जाने देंगी. ममता ने बीजेपी पर देश को बांटने का आरोप लगाया और कहा कि जब केंद्र में गैर-बीजेपी सरकार बनेगी, तब यह बिल रद्द कर दिया जाएगा.
#WATCH | West Bengal: Members of the Muslim community take to the streets in Kolkata to protest against the Waqf Amendment Bill. pic.twitter.com/pKZrIVAYlz
— ANI (@ANI) April 4, 2025
प्रमुख आपत्ति: पुराने मामलों पर भी लागू होगा क्या?
प्रदर्शनकारियों की प्रमुख चिंता है कि यह कानून पूर्व प्रभावी (retrospective) होकर पहले से मौजूद वक्फ संपत्तियों पर भी लागू हो सकता है. हालांकि, केंद्रीय अल्पसंख्यक कार्य मंत्री किरण रिजिजू ने संसद में स्पष्ट किया कि यह कानून आगामी (prospective) रूप से लागू होगा. उन्हें केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह का भी समर्थन मिला.
बिल में क्या हैं बड़े बदलाव?
- राज्य व केंद्र वक्फ बोर्ड में दो गैर-मुस्लिम सदस्यों की नियुक्ति अनिवार्य.
- दानकर्ता को यह प्रमाणित करना होगा कि वह पिछले पांच वर्षों से 'प्रैक्टिसिंग मुस्लिम' है.
- वक्फ बोर्ड के प्रबंधन, निर्माण और लाभार्थियों में गैर-मुस्लिम हस्तक्षेप की संभावना खारिज.
संसद में गरमागरम बहस, विपक्ष ने बताया मुस्लिम विरोधी
संसद में इस बिल पर करीब 20 घंटे की तीखी बहस हुई. विपक्ष ने इसे "मुस्लिम विरोधी" बताया, वहीं सत्तापक्ष ने इसे "ऐतिहासिक सुधार" करार दिया.
कांग्रेस नेता सोनिया गांधी ने इसे संविधान पर "सीधा हमला" बताते हुए कहा कि यह बिल समाज को स्थायी ध्रुवीकरण की ओर ले जा रहा है. उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि यह बिल राज्यसभा में 'बुलडोज' कर पारित किया गया. इस पर बीजेपी ने नाराजगी जताते हुए सोनिया गांधी से माफी की मांग की.
बिल की स्थिति अब
वक्फ संशोधन बिल अब केवल राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू की स्वीकृति के बाद कानून बनेगा, जो महज औपचारिकता मानी जा रही है.