झारखंड (Jharkhand) की राजधानी रांची (Ranchi) की एक अदालत ने फेसबुक पर इस्लाम धर्म के खिलाफ आपत्तिजनक टिप्पणी करने के मामले में जेल में बंद एक छात्रा ऋचा भारती को राहत दे दी है. अदालत ने छात्रा को सशर्त जमानत दी है. अदालत ने ऋचा भारती को एक अनोखी सजा सजा सुनाते हुए सशर्त जमानत आदेश दिया कि आरोपित को 15 दिनों के अंदर पांच कुरान की प्रतियां बांटनी होगी. जिसमें पहली शर्त में छात्रा को कल पिठोरिया के अंजुमन इस्लामिया के समक्ष एक प्रतिलिपि देनी होगी बाकी चार कुरान की प्रतिलिपि रांची के किसी भी पुस्तकालय में 15 दिनों के अंदर देनी होगी.
अदालत ने स्पष्ट किया है कि अगर आदेश की अवहेलना की गई तो जमानत रद हो सकती है. सात हजार के दो निजी बांड जमा करने के बाद सोमवार को ऋचा जेल से बाहर आ गई. दरअसल फेसबुक पर इस्लाम धर्म के प्रति आपत्तिजनक पोस्ट करने के मामले में पिठोरिया थाने से छात्र ऋचा की गिरफतारी की गई थी. हिंदू संगठनों समेत स्थानीय लोगों ने पुलिस के इस कदम का कड़ा विरोध किया था. शनिवार को स्थानीय लोगों ने पुलिस स्टेशन के सामने धरना प्रदर्शन किया था. इसके बाद पुलिस ने आश्वासन दिया था कि ऋचा को जल्द ही रिहा किया जाएगा.
मामले में सुनवाई के दौरान अदालत ने माना है कि ऋचा भारती पढ़ाई करने वाली छात्रा है जो किसी धर्म या राजनीतिक भावना से प्रेरित नहीं है. जिसके बाद मंगलवार को न्यायालय ने दोनों पक्षों की दलील सुनने के बाद ऋचा को जमानत दे दी. हालांकि सुनवाई के दौरान अदालत ने माना कि फेसबुक पर एक धर्म विशेष के खिलाफ हुए आपत्तिजनक पोस्ट से दो समुदाय के बीच दूरी बढ़ी है. इसलिए अदालत के इस मामले में ऋचा को कुरान बांटने की शर्त पर जमानत दी.