लखनऊ: तीन नए कृषि काननों (Farm Laws) के खिलाफ दिल्ली-उत्तर प्रदेश सीमा पर स्थित गाजीपुर बॉर्डर (Ghazipur Border) पर किसानों का धरना प्रदर्शन जारी है. प्रशासन यहां किसानों का विरोध-प्रदर्शन ख़त्म कराने में नाकाम रही है और देर रात पुलिस फोर्स को बैरंग वापस लौटना पड़ा. विरोध-प्रदर्शन के चलते गाजीपुर बॉर्डर आने और जाने वाले मार्ग को बंद कर दिया गया है. हालांकि यहां अभी भी काफी संख्या में सुरक्षाबल तैनात किये गए है. Farmers Protest: किसान नेता राकेश टिकैत ने समर्थकों और मीडिया कर्मियों के बीच युवक को जड़ा थप्पड़, जानें क्या है पूरा मामला
आंदोलनकारी किसानों ने गाजीपुर सीमा (दिल्ली-उत्तर प्रदेश) पर 'जय जवान, जय किसान', 'इंकलाब जिंदाबाद' के नारे लगाए. प्रदर्शन स्थल पर आज सुबह भी बड़ी संख्या में किसान डटे हुए है. किसान नेता जगतार सिंह बाजवा ने बताया, "हमारे पास अभी प्रदर्शन स्थल खाली करने का कोई आदेश नहीं आया है. कल शाम को डीएम की तरफ से एक नोटिस आया था, उस पर चर्चा करने के बाद उसका जवाब देंगे."
Agitating farmers raise slogans 'Jai Jawan, Jai Kisan', 'Inquilab Zindabad' at Ghazipur border (Delhi-Uttar Pradesh); visuals from early morning.
Uttar Pradesh Police and Provincial Armed Constabulary (PAC) deployed left the protest site late last night. https://t.co/V9FzAA2dXJ pic.twitter.com/UABDcL08UD
— ANI (@ANI) January 29, 2021
भारतीय किसान यूनियन (बीकेयू) के नेता राकेश टिकैत गुरुवार को गाजीपुर सीमा पर किसानों के प्रदर्शन स्थल पर भावुक हो गए थे. उन्होंने आरोप लगाया कि प्रशासन उनके आंदोलन को कुचलने की कोशिश कर रहा है. गणतंत्र दिवस पर 'किसान गणतंत्र परेड' के दौरान शहर के कई हिस्सों में हुई हिंसा के सिलसिले में दिल्ली पुलिस की एफआईआर में नामित टिकैत ने दो दिन बाद विरोध स्थल पर अपनी उपस्थिति दर्ज कराई.
Uttar Pradesh police and Provincial Armed Constabulary (PAC) deployed at Ghazipur border since yesterday evening, leaves the protest site in police and PAC vehicles. pic.twitter.com/SSYnnRczdZ
— ANI UP (@ANINewsUP) January 28, 2021
मीडिया से बात करते हुए, भावुक टिकैत ने कहा कि प्रशासन उनके शांतिपूर्ण आंदोलन को समाप्त करने के लिए किसानों के खिलाफ षड्यंत्र करने की कोशिश कर रहा है. टिकैत ने कहा कि वह आत्महत्या कर लेंगे, लेकिन वह अब आत्मसमर्पण नहीं करेंगे. उन्होंने कहा, "यह देश के किसानों के साथ अन्याय है. तीन कानूनों को निरस्त किया जाना चाहिए और हमारा आंदोलन तब तक चलता रहेगा, जब तक तीनों कानूनों को वापस नहीं लिया जाता है."
गाजियाबाद प्रशासन ने किसानों को प्रदर्शन स्थल खाली करने के लिए नोटिस दिया है. जिसके चलते गाजीपुर विरोध स्थल पर पुलिसकर्मियों और सुरक्षाबलों की भारी तैनाती की गई थी. यहां किसान पिछले साल 26 नवंबर से डेरा डाले हुए हैं. बीती रात पुलिस फोर्स को वापस लौटना पड़ा, हालांकि इस घटनाक्रम के बाद आज सुबह से गाजीपुर बॉर्डर पर एक बार फिर किसान जुटना शुरू हो गए है.