नासिक में भीषण बस दुर्घटना में मरने वालों की संख्या 13 हो गई है, जबकि अन्य 27 का अलग-अलग अस्पतालों में इलाज चल रहा है। अधिकारियों ने शनिवार को यह जानकारी दी.
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू, उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, गृह मंत्री अमित शाह, महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे और डिप्टी सीएम देवेंद्र फडणवीस ने हादसे पर दुख व्यक्त किया है, इस हादसे ने पूरे राज्य को झकझोर कर रख दिया है. यह भी पढ़ें: केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी का बड़ा बयान, कहा- 2024 से पहले UP की सड़कों को अमेरिका से भी अच्छा बनाएंगे
अधिकारियों के मुताबिक, शनिवार सुबह करीब पांच बजे चिंतामणि ट्रेवल्स की मुंबई जाने वाली निजी यात्री बस नासिक के बाहरी इलाके औरंगाबाद रोड पर एक तेज रफ्तार तेल टैंकर से जा टकराई. बस यवतमाल से मुंबई जा रही थी, जबकि टैंकर पुणे से नासिक जा रहा था, तभी दोनों वाहनों में टक्कर हो गई.
टक्कर इतनी जोरदार थी कि बस में आग लग गई, जिससे उस समय सो रहे कई यात्री फंस गए। घायलों में कुछ की हालत गंभीर बताई जा रही है, क्योंकि अधिकांश लोग भीषण आग में गंभीर रूप से झुलस गए। स्थानीय लोगों ने कहा कि आग की भयंकर थी कि, उनकी आंखों के सामने बस पूरी तरह से जल गई और लपटों के बीच किसी की मदद नहीं कर पाए.
शनिवार दोपहर को नासिक पहुंचे शिंदे ने इस दुखद घटना की जांच के आदेश दिए और स्थानीय और जिला अस्पतालों में पीड़ितों से भी मुलाकात की.
प्रधानमंत्री ने प्रत्येक मृतक के परिजन को दो-दो लाख रुपये और घायलों को 50-50 हजार रुपये के मुआवजे की घोषणा की है, जबकि शिंदे ने कहा कि मृतकों के परिवारों को पांच-पांच लाख रुपये दिए जाएंगे, जबकि राज्य सरकार घायलों के लिए सरकारी या निजी अस्पतालों में इलाज का पूरा खर्च उठाएगी.
शिंदे ने मीडियाकर्मियों से कहा कि उन्होंने अधिकारियों को नासिक और उसके आसपास दुर्घटना संभावित स्थानों की पहचान करने और इस तरह की बार-बार होने वाली दुर्घटनाओं को रोकने के लिए निवारक उपाय करने का भी आदेश दिया है.
शिंदे समूह के मंत्रियों के साथ कांग्रेस, राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी और शिवसेना के प्रवक्ताओं ने भी दुखद दुर्घटना पर शोक व्यक्त किया है और मामले की गहन जांच की मांग की है.