सरकार ने फसल वर्ष 2020-21 में रिकॉर्ड 29.83 करोड़ टन अनाज उत्पादन का लक्ष्य निर्धारित किया

फरवरी में मंत्रालय द्वारा जारी दूसरे अग्रिम अनुमान के अनुसार, फसल वर्ष 2019-20 (जुलाई-जून) में खाद्यान्न उत्पादन 29 करोड़ 19.5 लाख टन रहने का उनुमान है। यह अब तक का सब के सर्वकालिक उत्पादन होगा है।

जमात

नयी दिल्ली, 16 अप्रैल सामान्य मानसून रहने की उम्मीद के अनुरूप कृषि मंत्रालय ने फसल वर्ष 2020-21 में अनाज उत्पादन को 63.5 लाख टन बढ़ाकर 29.83 करोड़ टन करने का लक्ष्य निर्धारित किया है।

फरवरी में मंत्रालय द्वारा जारी दूसरे अग्रिम अनुमान के अनुसार, फसल वर्ष 2019-20 (जुलाई-जून) में खाद्यान्न उत्पादन 29 करोड़ 19.5 लाख टन रहने का उनुमान है। यह अब तक का सब के सर्वकालिक उत्पादन होगा है।

कृषि आयुक्त एस के मल्होत्रा ​​ने खरीफ फसलों की बुवाई की योजना बनाने के लिए आयोजित राष्ट्रीय स्तर के वीडियो कॉन्फ्रेंस में कहा, ‘‘भारतीय मौसम विभाग (आईएमडी) ने देश भर में जून से सितंबर के दौरान दक्षिण-पश्चिम मानसून की बारिश सामान्य होने की संभावना जताई है जो खरीफ (ग्रीष्म) फसलों के लिए अच्छा साबित होगा।

कोविड-19 की वजह से लॉकडाउन के मद्देनजर, मश्ल्होत्रा ​​ने राज्य सरकारों को खेती के कामों की छूट और खरीफ फसलों की बुवाई के दौरान व्यक्तिगत दूरी बनाकर रखने और स्वच्छता का पालन करने की आवश्यकता के बारे में बताया।

उन्होंने कहा कि खरीफ फसलों की बुवाई देश के कुछ हिस्सों में शुरू हो चुकी है और उन्होंने फसल वर्ष 2010-21 के लिए खाद्यान्न उत्पादन लक्ष्य निर्धारित किये जाने के बारे में बताया।

उन्होंने कहा कि कृषि मंत्रालय ने खरीफ (गर्मी) के मौसम में 14 करोड़ 99.2 लाख टन खाद्यान्न उत्पादन और रबी (सर्दियों) सत्र में 14.84 करोड़ टन के उत्पादन का लक्ष्य रखा है। जिससे फसल वर्ष 2020-21 में कुल खाद्यान्न का लक्ष्य रिकॉर्ड 29.83 करोड़ टन तय किया गया है।

चावल उत्पादन वर्तमान फसल वर्ष में अनुमानित 11 करोड़ 74.7 लाख टन के मुकाबले चावल उत्पादन का लक्ष्य वर्ष 2020-21 में 11.75 करोड़ टन रखा गया है।

इसी प्रकार, गेहूं उत्पादन का लक्ष्य फसल वर्ष 2019-20 के 10.65 करोड़ टन के स्तर पर ही रखा गया है।

मोटे अनाज का उत्पादन 2020-21 में 4.87 करोड़ टन तक करने का लक्ष्य है जो इस साल पहले चार करोड़ 52.4 लाख टन अनुमानित है।

मल्होत्रा ​​ने कहा कि दलहन उत्पादन का लक्ष्य दो करोड़ 56 लाख टन निर्धारित किया गया है जो चालू वर्ष में दो करोड़ 36 लाख टन होने का अनुमान है।

गैर-खाद्यान्न श्रेणी में 2019-20 में तीन करोड़ 41.9 लाख टन के मुकाबले तिलहन उत्पादन के मुकाबले उत्पादन का तीन करोड़ 66.4 लाख टन का लक्ष्य निर्धारित किया है।

इस फसल वर्ष में तीन करोड़ 48.9 लाख गांठ (प्रत्येक 170 किलोग्राम) की तुलना में कपास उत्पादन का लक्ष्य 3.6 करोड़ गांठ तय किया गया है।

गन्ने का उत्पादन लक्ष्य फसल वर्ष 2020-21 के दौरान 39 करोड़ टन है, जो चालू फसल वर्ष में 35.38 करोड़ टन होना अनुमानित है।

भारतीय मौसम विभाग (आईएमडी) का पूर्वानुमान है कि देश में इस साल ‘सामान्य’ मानसून वर्षा होगी, जिससे कृषि उत्पादन के बढ़ने की उम्मीद है।

भारत का लगभग 50 प्रतिशत खेती योग्य क्षेत्र मानसून पर निर्भर है। मानसून लंबी अवधि के औसत (एलपीए) का 96-104 प्रतिशत रहेगा, जो मौसम के लिहाज से सामान्य है।

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