देश की खबरें | मानसिक स्वास्थ्य प्रतिष्ठानों में मानकों के लिए नियम अधिसूचित: केंद्र ने उच्च न्यायालय को बताया
Get Latest हिन्दी समाचार, Breaking News on India at LatestLY हिन्दी. केंद्र ने शुक्रवार को दिल्ली उच्च न्यायालय को बताया कि उसने मानसिक स्वास्थ्य कानून के तहत मानसिक स्वास्थ्य प्रतिष्ठानों की विभिन्न श्रेणियों द्वारा अपनाए जाने वाले न्यूनतम मानकों को अधिसूचित कर दिया है।
नयी दिल्ली, पांच फरवरी केंद्र ने शुक्रवार को दिल्ली उच्च न्यायालय को बताया कि उसने मानसिक स्वास्थ्य कानून के तहत मानसिक स्वास्थ्य प्रतिष्ठानों की विभिन्न श्रेणियों द्वारा अपनाए जाने वाले न्यूनतम मानकों को अधिसूचित कर दिया है।
मुख्य न्यायाधीश डी एन पटेल और न्यायमूर्ति ज्योति सिंह की पीठ के समक्ष एक जनहित याचिका पर सुनवाई के समय केंद्र ने इस बारे में बताया। याचिका में मानसिक स्वास्थ्य प्रतिष्ठानों की विभिन्न श्रेणियों के लिए अग्रिम निर्देश और न्यूनतम मानकों के नियमन को लेकर अनुरोध किया गया था।
वकील और याचिकाकर्ता गौरव कुमार बंसल की याचिका का निपटारा करते हुए अदालत ने उन्हें अधिसूचित नियमन को कानून के तहत उपयुक्त मंच पर चुनौती देने की भी छूट प्रदान की। इससे पहले याचिकाकर्ता ने कहा कि 18 दिसंबर 2020 में अधिसूचित नियमन में कई ‘‘खामियां’’ हैं।
बंसल ने अपनी याचिका में दावा किया कि 2017 के मानसिक स्वास्थ्य कानून के तहत 18 महीने के भीतर न्यूनतम मानकों को अधिसूचित करना जरूरी था।
उच्च न्यायालय ने 12 अक्टूबर 2020 को केंद्र को अधिवक्ता की इसी तरह की याचिका को आवेदन मानकर इस पर कानून के तहत फैसला करने को कहा था।
अपनी मौजूदा याचिका में बंसल ने कहा कि देश में ऐसे कई प्रतिष्ठान हैं जो दावा करते हैं कि वे आयुर्वेद, योग या प्राकृतिक उपचार के जरिए मानसिक रूप से बीमार लोगों का इलाज कर सकते हैं।
याचिका में कहा गया, ‘‘हालांकि इन प्रतिष्ठानों ने केंद्रीय मानसिक स्वास्थ्य प्राधिकरण या राज्य मानसिक स्वास्थ्य प्राधिकरण के सामने कभी पंजीकरण नहीं कराया जो कि मानसिक स्वास्थ्य कानून 2017 के तहत जरूरी है।’’
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