जरुरी जानकारी | सब्जियों के दाम कम होने से खुदरा महंगाई अगस्त में घटकर 6.83 प्रतिशत
Get Latest हिन्दी समाचार, Breaking News on Information at LatestLY हिन्दी. मुख्य रूप से सब्जियों के दाम में नरमी से खुदरा मुद्रास्फीति अगस्त में घटकर 6.83 प्रतिशत पर आ गई है। हालांकि, यह अब भी भारतीय रिजर्व बैंक के संतोषजनक स्तर से ऊपर है।
नयी दिल्ली, 12 सितंबर मुख्य रूप से सब्जियों के दाम में नरमी से खुदरा मुद्रास्फीति अगस्त में घटकर 6.83 प्रतिशत पर आ गई है। हालांकि, यह अब भी भारतीय रिजर्व बैंक के संतोषजनक स्तर से ऊपर है।
जुलाई में खुदरा महंगाई दर 15 महीने के उच्चस्तर 7.44 प्रतिशत पर पहुंच गयी थी।
राष्ट्रीय सांख्यिकी कार्यालय (एनएसओ) के मंगलवार को जारी आंकड़ों के अनुसार, खाद्य मुद्रास्फीति अगस्त महीने में 9.94 प्रतिशत रही जो इससे पिछले महीने जुलाई में 11.51 प्रतिशत थी।
उपभोक्ता मूल्य सूचकांक आधारित मुद्रास्फीति पिछले साल अगस्त में सात प्रतिशत थी।
हालांकि, खुदरा मुद्रास्फीति पिछले महीने नरम हुई है, लेकिन यह अब भी आरबीआई के संतोषजनक दायरे से ऊपर है। केंद्रीय बैंक को दो प्रतिशत घट-बढ़ के साथ महंगाई दर को चार प्रतिशत पर रखने की जिम्मेदारी मिली हुई है।
आंकड़ों के अनुसार, सब्जियों की महंगाई आलोच्य महीने में नरम पड़कर 26.14 प्रतिशत रही जो जुलाई में 37.4 प्रतिशत थी।
तेल और वसा उत्पादों की महंगाई घटकर 15.28 प्रतिशत रही। वहीं मांस और मछली, अंडा, चीनी तथा ‘कन्फेक्शनरी (बिस्कुट, चॉकलेट आदि), गैर-अल्कोहोलिक पेय पदार्थ, फल तथा तैयार भोजन एवं ‘स्नैक्स’ (नमकीन, चिप्स आदि) में महंगाई सालाना आधार पर कम रही।
आंकड़ों के अनुसार, आवास खंड में मुद्रास्फीति 4.38 प्रतिशत और ईंधन तथा प्रकाश खंड में 4.31 प्रतिशत रही।
रेटिंग एजेंसी इक्रा की मुख्य अर्थशास्त्री और शोध प्रमुख अदिति नायर ने कहा कि खाद्य वस्तुओं में सब्जियों की महंगाई घटकर 26.1 प्रतिशत पर आ गयी है, जो इससे पिछले महीने 37.4 प्रतिशत पर थी। खुदरा मुद्रास्फीति में इस दौरान जो 0.61 प्रतिशत की कमी आई, उसमें इनका योगदान 0.28 प्रतिशत रहा।
उन्होंने कहा, ‘‘मुख्य (कोर) मुद्रास्फीति (खुदरा मुद्रास्फीति से खाद्य, पेय पदार्थ और ईंधन के दाम को हटाकर) इस साल अगस्त महीने में मामूली घटकर 5.06 प्रतिशत रही जो इससे पिछले महीने 5.12 प्रतिशत थी। यह तीसरा महीना है जब इसमें कमी आई है।’’
आरबीआई ने चालू वित्त वर्ष में मुद्रास्फीति 5.4 प्रतिशत रहने का अनुमान रखा है। दूसरी तिमाही में इसके 6.2 प्रतिशत, तीसरी तिमाही में 5.7 प्रतिशत तथा चौथी तिमाही में 5.2 प्रतिशत रहने का अनुमान है। पहली तिमाही में मुद्रास्फीति 5.2 प्रतिशत रहने का अनुमान रखा गया था।
उल्लेखनीय है कि खुदरा मुद्रास्फीति जून, 2023 में नरम पड़कर 4.8 प्रतिशत रही थी, जो बीते वर्ष अप्रैल में 7.8 प्रतिशत के उच्चस्तर पर पहुंच गयी थी। हालांकि, मुख्य रूप से सब्जियों के दाम में तेजी से जुलाई में यह बढ़कर 7.4 प्रतिशत पर पहुंच गयी।
(यह सिंडिकेटेड न्यूज़ फीड से अनएडिटेड और ऑटो-जेनरेटेड स्टोरी है, ऐसी संभावना है कि लेटेस्टली स्टाफ द्वारा इसमें कोई बदलाव या एडिट नहीं किया गया है)