विवादों को ‘बातचीत और सहयोग’ के जरिये सुलझायें: शी
अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन (File Photo)

शी की इस टिप्पणी से कुछ घंटे पहले अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन ने कहा था कि उनका ‘‘एक नया शीत युद्ध’’ शुरू करने का कोई इरादा नहीं है. वहीं संयुक्त राष्ट्र प्रमुख एंतोनिया गुतारेस ने पहले कहा था वाशिंगटन और बीजिंग दोनों को यह सुनिश्चित करने की आवश्यकता है कि उनके मतभेद और तनाव उनके 42 साल पुराने रिश्ते को पटरी से नहीं उतारें.

शी ने रिकॉर्ड किये गए भाषण में कहा, ‘‘एक देश की सफलता का मतलब दूसरे देश की विफलता नहीं है. दुनिया सभी देशों के साझा विकास और प्रगति को समायोजित करने के लिए काफी बड़ी है.’’ चीन अक्सर बहुपक्षवाद का उपदेश देता है, हालांकि इसके आलोचकों का कहना है कि ताइवान और दक्षिण चीन सागर में क्षेत्रीय विवादों के प्रति उसकी नीतियां कुछ और ही संकेत देती हैं. यह भी पढ़ें : African Swine Fever: त्रिपुरा में अफ्रीकी स्वाइन फीवर की दस्तक, इलाके के सभी सूअरों को मारने का आदेश, भारत में पहले भी मचा चूका है तबाही

सीधे अमेरिका का उल्लेख किए बिना शी ने कहा, ‘‘बाहर से सैन्य हस्तक्षेप और तथाकथित लोकतांत्रिक परिवर्तन में नुकसान के अलावा कुछ भी नहीं है. दुनिया सभी देशों के साझा विकास और प्रगति को समायोजित करने के लिए काफी बड़ी है. हमें टकराव और बहिष्कार पर बातचीत और समावेश को तरजीह देने की जरूरत है.’’