खाड़ी देशों से भारतीय नागरिकों को वापस लाने की अभी तत्काल कोई योजना नहीं: केन्द्र
केन्द्र सरकार के वकील ने संयुक्त अरब अमीरात(यूएई) में फंसे भारतीयों को वापस लाने संबंधी निर्देश दिये जाने के अनुरोध वाली एक याचिका की सुनवाई के दौरान न्यायमूर्ति राजविजयराघवन और न्यायमूर्ति टी आर रवि की एक खंडपीठ के समक्ष यह दलील दी।
कोच्चि, 17 अप्रैल केन्द्र ने शुक्रवार को केरल उच्च न्यायालय को सूचित किया कि कोरोना वायरस महामारी के कारण खाड़ी देशों में फंसे भारतीय नागरिकों को वापस लाने की तत्काल कोई योजना नहीं है और प्रवासियों को वीजा विस्तार दिया गया है।
केन्द्र सरकार के वकील ने संयुक्त अरब अमीरात(यूएई) में फंसे भारतीयों को वापस लाने संबंधी निर्देश दिये जाने के अनुरोध वाली एक याचिका की सुनवाई के दौरान न्यायमूर्ति राजविजयराघवन और न्यायमूर्ति टी आर रवि की एक खंडपीठ के समक्ष यह दलील दी।
वकील ने कहा कि फंसे हुए भारतीयों की चिकित्सीय जांच करने के लिए वहां मेडिकल टीमों को भेजने के लिए खाड़ी देशों की अनुमति की आवश्यकता होती है।
केरल सरकार के वहां मलयाली लोगों के बीच कोरोना वायरस बीमारी के मामले से निपटने के लिए खाड़ी देशों में चिकित्सा दल भेजने के बारे में अदालत ने केंद्र की राय मांगी थी।
अदालत ने विचार के लिए मामले की अगली सुनवाई की तिथि 21 अप्रैल तय की। केन्द्र सरकार ने बताया कि इस तरह की एक याचिका पर उच्चतम न्यायालय भी विचार कर रहा है।
दुबई में केरल मुस्लिम सांस्कृतिक केंद्र ने अपनी याचिका में विदेश मंत्रालय और नागर विमानन मंत्रालय से यूएई में फंसे हुए भारतीय नागरिकों को वापस लाने के लिए अंतरराष्ट्रीय हवाई यात्रा में छूट देने संबंधी निर्देश दिये जाने की मांग की है।
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