देश की खबरें | बीपीएससी परीक्षा विवाद के सिलसिले में चिराग ने कहा: बातचीत का द्वार हमेशा खुला रहना चाहिए
Get Latest हिन्दी समाचार, Breaking News on India at LatestLY हिन्दी. केंद्रीय मंत्री चिराग पासवान ने बृहस्पतिवार को बिहार लोक सेवा आयोग (बीपीएससी) की हाल में आयोजित परीक्षा को रद्द करने की मांग को लेकर चल रहे विरोध प्रदर्शन का समर्थन किया।
पटना, नौ जनवरी केंद्रीय मंत्री चिराग पासवान ने बृहस्पतिवार को बिहार लोक सेवा आयोग (बीपीएससी) की हाल में आयोजित परीक्षा को रद्द करने की मांग को लेकर चल रहे विरोध प्रदर्शन का समर्थन किया।
लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) के प्रमुख पासवान ने यहां संवाददाताओं से बातचीत में प्रदर्शनकारियों पर लाठीचार्ज की हालिया घटनाओं की भी निंदा की और सुझाव दिया कि नीतीश कुमार सरकार को बातचीत के लिए द्वार हमेशा 'खुला' रखना चाहिए।
पासवान ने कहा, ‘‘मैं विद्यार्थियों पर लाठीचार्ज के पक्ष में बिल्कुल नहीं हूं... विद्यार्थी जो भी कहें, उसे गंभीरता से सुना जाना चाहिए...उनकी वास्तविक मांगों को स्वीकार किया जाना चाहिए। विद्यार्थियों के लिए बातचीत का द्वार हमेशा खुला रहना चाहिए।"
केंद्रीय मंत्री ने यह टिप्पणी उस समय की जब राज्य की राजधानी पटना में विरोध प्रदर्शन कर रहे बीपीएससी अभ्यर्थी आयोग की 13 दिसंबर की परीक्षा में कथित अनियमितताओं को लेकर मुख्यमंत्री से मुलाकात की मांग कर रहे हैं।
बीपीएससी 13 दिसंबर को आयोजित संयुक्त प्रतियोगी परीक्षा प्रश्नपत्र लीक होने के आरोपों के कारण विवादों में घिर गई है। हालांकि सरकार ने आरोपों का खंडन किया है, लेकिन पटना के एक केंद्र पर परीक्षा में शामिल हुए 12,000 से अधिक उम्मीदवारों के लिए फिर से परीक्षा आयोजित कराई गई है।
जनसुराज पार्टी के संस्थापक प्रशांत किशोर के स्वास्थ्य में सुधार आया। वह इस परीक्षा रद्द करने की अभ्यर्थियों की मांग के समर्थन दो जनवरी से पटना के गांधी मैदान में अनशन पर थे और उन्हें स्वास्थ्य की स्थिति बिगड़ने पर मंगलवार को मेदांता अस्पताल में भर्ती कराया गया था।
पार्टी के एक बयान के अनुसार किशोर को "स्थिति में सुधार के बाद आईसीयू से ‘आइसोलेशन वार्ड’ में स्थानांतरित कर दिया गया है।
जनसुराज पार्टी के राज्य उपाध्यक्ष ललन ने प्रेसवार्ता में कहा कि 47 वर्षीय किशोर अभी भी "निमोनिया और किडनी स्टोन" से पीड़ित हैं।
उन्होंने मुख्यमंत्री से किशोर की मांगों पर विचार करते हुए उनके "अनशन" को समाप्त करने में मदद करने का आग्रह किया।
ललन ने कहा, "हम यह नहीं कह रहे हैं कि मुख्यमंत्री को जनसुराज के प्रतिनिधिमंडल से मिलना चाहिए। हम उनसे छात्रों के प्रतिनिधिमंडल से बात करने के लिए कह रहे हैं।"
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