नई दिल्ली: राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग ने गाजियाबाद (Ghaziabad) में एक श्मशान घाट की छत गिरने की घटना को लेकर मंगलवार को उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) सरकार और राज्य के पुलिस महानिदेशक को नोटिस भेजा. नोटिस जारी करते हुए आयोग ने यह भी कहा कि ऐसा लगता है कि ठेकेदार और संबंधित विभाग ने ‘लापरवाही’ से काम किया जिससे कई लोगों के जीवन जीने अधिकार का हनन हुआ. आयोग की ओर से जारी बयान में कहा गया है, ‘‘मानवाधिकार आयोग मीडिया में इस घटना को लेकर आई खबरों का संज्ञान लिया है.’’
मानवाधिकार आयोग ने उप्र सरकार के मुख्य सचिव और पुलिस महानिदेश को नोटिस भेजकर कहा है कि इस मामले में चार सप्ताह के भीतर विस्तृत रिपोर्ट दी जाए. आयोग के अनुसार, मीडिया में आई खबरों से पता चलता है कि मामले में प्राथमिकी दर्ज की गई है और पीड़ितों के परिवारों को वित्तीय सहयोग देने की भी घोषणा की गई है.यह भी पढ़े: शिवालिक अभयारण्य को लेकर उत्तराखंड हाइकोर्ट से केंद्र, राज्य को नोटिस
उसने राज्य सरकार से कहा है कि वह अपने वरिष्ठ अधिकारियों के माध्यम से मामले की जांच की मौजूदा स्थिति और घायलों की हालत के बारे में आयोग को सूचित करे. उल्लेखनीय है कि मुरादनगर (Muradnagar) में रविवार को एक श्मशान घाट में छत ढह जाने से 24 लोगों की मौत हो गई थी और 17 अन्य व्यक्ति घायल हो गये थे. पीड़ितों में से अधिकतर लोग एक व्यक्ति के अंतिम संस्कार के लिए श्मशान घाट आए थे.
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