देश की खबरें | दिल्ली उच्च न्यायालय ने रामदेव के खिलाफ चिकित्सकों की याचिका पर सुनवाई टाली

Get Latest हिन्दी समाचार, Breaking News on India at LatestLY हिन्दी. दिल्ली उच्च न्यायालय ने शुक्रवार को पतजंलि की ‘कोरोनिल’ दवा के उपयोग को लेकर विभिन्न चिकित्सक संगठनों की याचिका पर सुनवाई 30 अगस्त तक के लिए स्थगित कर दी।

नयी दिल्ली, 26 अगस्त दिल्ली उच्च न्यायालय ने शुक्रवार को पतजंलि की ‘कोरोनिल’ दवा के उपयोग को लेकर विभिन्न चिकित्सक संगठनों की याचिका पर सुनवाई 30 अगस्त तक के लिए स्थगित कर दी।

अदालत ने कहा कि न्यायिक औचित्य और अनुशासन को ध्यान में रखते हुए कार्यवाही को तब तक रोका जाए, जब तक कि उच्चतम न्यायालय के समक्ष कथित रूप से इसी तरह के मुद्दों के लंबित होने के संबंध में ‘‘कुछ स्पष्टता’’ नहीं हो।

न्यायमूर्ति अनूप जयराम भंभानी ने कहा कि ‘इंडियन मेडिकल एसोसिएशन’ (आईएमए) द्वारा शीर्ष अदालत के समक्ष लंबित याचिका की एक प्रति उच्च न्यायालय के समक्ष पेश की जाये, ताकि वह इस पर निर्णय ले सके कि क्या इस मामले में कोई ‘‘समानता’’ है और क्या उसे इस पर आगे बढ़ना चाहिए?

कई चिकित्सक संगठनों ने पिछले साल उच्च न्यायालय का रुख कर यह आरोप लगाया था कि रामदेव जनता को यह कहकर गुमराह कर रहे हैं कि एलोपैथी कोविड​​-19 से संक्रमित कई लोगों की मौत के लिए जिम्मेदार रही। याचिका में आरोप लगाया गया कि रामदेव यह दावा कर गलत जानकारी पेश कर रहे हैं कि पतंजलि की ‘कोरोनिल’ कोरोना वायरस का इलाज है।

संगठनों की ओर से पेश वरिष्ठ अधिवक्ता अखिल सिब्बल ने कहा कि उन्हें शीर्ष अदालत के समक्ष याचिका के तथ्यों के बारे में पता नहीं है। हालांकि, उन्होंने मामले को जनहित से जुड़ा बताकर तत्काल सुनवाई का अनुरोध किया।

वहीं, रामदेव की ओर से पेश वरिष्ठ अधिवक्ता पी.वी. कपूर ने कहा कि कार्यवाही को फिलहाल के लिए टाल दिया जाना चाहिए, क्योंकि उच्चतम न्यायालय के समक्ष लंबित मामला भी मौजूदा याचिका जैसा ही है।

(यह सिंडिकेटेड न्यूज़ फीड से अनएडिटेड और ऑटो-जेनरेटेड स्टोरी है, ऐसी संभावना है कि लेटेस्टली स्टाफ द्वारा इसमें कोई बदलाव या एडिट नहीं किया गया है)

Share Now

\