अनुराग ठाकुर और श्रीकांत शिंदे ने ‘अंगूठे काटे जाने’ वाले बयान को लेकर राहुल गांधी पर साधा निशाना

नयी दिल्ली, 14 दिसंबर : भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के सांसद अनुराग ठाकुर और शिवसेना सांसद श्रीकांत शिंदे ने कांग्रेस नेता राहुल गांधी पर निशाना साधते हुए शनिवार को लोकसभा में कहा कि नेता प्रतिपक्ष ‘अंगूठा काटने की बात’ कर रहे हैं, लेकिन कांग्रेस ने तो 1984 में ‘सिखों के गले काटे’ थे. ठाकुर ने संविधान की प्रति हाथ में लेकर दिखाने के लिए भी राहुल गांधी को आड़े हाथ लेते हुए कहा कि कांग्रेस नेता को कभी संविधान पढ़ भी लेना चाहिए. सदन में ‘संविधान के 75 वर्ष की गौरवशाली यात्रा’ पर चर्चा में भाग लेते हुए इन सदस्यों ने यह बात कही. इससे पहले चर्चा में भाग लेते हुए राहुल गांधी ने आरोप लगाया था कि जिस तरह एकलव्य का अंगूठा काटा गया उसी तरह से आज सरकार देश के युवाओं का अंगूठा काट रही है. ठाकुर ने उनके इस बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा, ‘‘ये अंगूठा काटने की बात करते हैं, इनके राज में सिखों के गले काटे गए थे. आपको देश से माफी मांगनी चाहिए.’’

उन्होंने कहा कि संविधान की ही ताकत थी जिसके कारण इंदिरा गांधी के शासनकाल में देश में लागू आपातकाल को समाप्त किया जा सका. ठाकुर ने आरोप लगाया कि गांधी परिवार ने संविधान को तार-तार किया है. शिवसेना के श्रीकांत शिंदे ने कहा कि नेता प्रतिपक्ष बार-बार ‘अभय मुद्रा’ की बात करते हैं जो अहिंसा सिखाती है, लेकिन कांग्रेस ने 1984 में सिखों के साथ हिंसा की. शिवसेना नेता ने कहा कि राहुल गांधी ने ‘युवाओं के अंगूठे काटे जाने’ की बात कही लेकिन उन्हें याद करना चाहिए कि 1964 में उनके शासन में 1070 सांप्रदायिक दंगे हुए, उनके शासन में कारसेवकों पर गोलियां चलाई गईं. उन्होंने कहा कि कांग्रेस के लोग सावरकर का अपमान करते हैं तो उनके सहयोगी शिवसेना (उबाठा) के लोग बताएं कि क्या वे इनकी बात मानते हैं. शिंदे ने दावा किया कि 1980 में इंदिरा गांधी ने सावरकर राष्ट्रीय स्मारक के सचिव पंडित बाखले को लिखे पत्र में सावरकर की प्रशंसा की थी और उन्हें साहसी बताया था. यह भी पढ़ें : सत्ता के दो केंद्र आपदा का कारण बनते हैं: जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने कहा

उन्होंने कहा कि नेता प्रतिपक्ष बताएं कि क्या उनकी दादी भी संविधान विरोधी थीं. इससे पहले राहुल ने अपने भाषण में कहा कि सावरकर ने लिखा था कि भारतीय संविधान में भारतीय जैसा कुछ नहीं है. शिंदे के बयान पर राहुल गांधी स्पष्टीकरण की अनुमति देने की मांग करने लगे. आसन से उन्हें शिंदे के बयान के बाद बोलने की अनुमति देने का आश्वासन दिया गया, लेकिन कांग्रेस सांसद तत्काल अनुमति देने की मांग करते हुए नारेबाजी करने लगे और आसन के समीप आ गए. कुछ देर हंगामे के बाद लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने राहुल गांधी को बोलने की अनुमति दी. राहुल ने कहा, ‘‘जब मैं छोटा था तो मैंने इंदिरा गांधी जी से सावरकर के बारे में पूछा था तो उन्होंने मुझे बताया था कि सावरकर ने अंग्रेजों से समझौता किया और अंग्रेजों को पत्र लिखकर माफी मांगी. गांधीजी जेल गये, नेहरू जी जेल गए, लेकिन सावरकर ने माफी मांगी थी.’’

शिंदे ने कहा कि कांग्रेस के लोग सावरकर के बारे में अनर्गल बयानबाजी करते हैं, लेकिन ‘‘हमें अभिमान है कि हम सावरकर की पूजा करते हैं.’’ मुंबई की धारावी परियोजना के पुनर्निर्माण से एक उद्योगपति को लाभ पहुंचाने के कांग्रेस नेता राहुल गांधी के आरोपों के जवाब में शिंदे ने कहा कि संविधान के अनुच्छेद 21 में जीवन का अधिकर है और उसका अर्थ केवल जिंदा रहना नहीं, बल्कि सम्मानपूर्वक जीवन जीना भी है. उन्होंने कहा, ‘‘इसलिए महाराष्ट्र की सरकार धारावी का पुनर्विकास करा रही है जिससे वहां रहने वाले लोगों को पक्के मकान मिलेंगे.’’