प्रयागराज (उप्र), 5 फरवरी : माघ मेले (Magh Mela) के पांचवे स्नान पर्व माघी पूर्णिमा पर रविवार को दोपहर 12 बजे तक करीब 20 लाख लोगों ने गंगा और संगम तट पर स्नान किया. हर-हर महादेव और हर-हर गंगे के उद्घोष से पूरा संगम तट गुंजायमान रहा. एक अधिकारी ने यह जानकारी दी. अपर मेला अधिकारी विवेक चतुर्वेदी ने बताया कि सुबह चार बजे से ही लोगों की भीड़ संगम क्षेत्र में आती रही और रविवार को दोपहर 12 बजे तक करीब 20 लाख लोगों ने संगम और गंगा तट पर डुबकी लगाई. स्नान के लिए शनिवार रात से ही लोग संगम पर पहुंच गए थे.
उन्होंने कहा कि माघी पूर्णिमा के स्नान के साथ कल्पवासियों का एक माह का कल्पवास पूरा हो गया और अब वे यहां से अपने अपने गांव-शहर के लिए प्रस्थान करने लगे हैं. त्रिवेणी संगम आरती सेवा समिति के अध्यक्ष और ज्योतिषाचार्य पंडित राजेंद्र मिश्रा ने बताया कि माघी पूर्णिमा शनिवार की रात साढ़े नौ बजे ही लग गई थी और यह रविवार को 11:58 बजे तक थी. हालांकि उदया तिथि में रविवार को ही माघी पूर्णिमा स्नान की मान्यता है. उन्होंने कहा, ऐसी मान्यता है कि माघी पूर्णिमा पर अन्न, वस्त्र के साथ खीर का दान करने से हर तरह की मनोकामनाओं की पूर्ति के योग बनते हैं. माघी पूर्णिमा स्नान के साथ मेला क्षेत्र में महीने भर से कल्पवास कर रहे करीब 20 लाख कल्पवासी आज विदा होंगे. यह भी पढ़ें : संसद ने भी माना कि दिल्ली की वायु गुणवत्ता में सुधार हुआ है : केजरीवाल
वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक (माघ मेला) राजीव नारायण मिश्र ने बताया कि मेले में सुरक्षा व्यवस्था में 5000 से अधिक लोग तैनात किए गए हैं जिसमें नागरिक पुलिस, महिला पुलिस, घुड़सवार पुलिस, एलआईयू की टीम, खुफिया विभाग के अधिकारी, राज्य आपदा मोचन बल (एसडीआरएफ), राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ), जल पुलिस आदि शामिल हैं. उन्होंने बताया कि मेले में रीवर एंबुलेंस और फ्लोटिंग पुलिस चौकी की भी व्यवस्था की गई है. सीसीटीवी, शरीर पर धारण योग्य कैमरों, ड्रोन कैमरों से लोगों पर नजर रखी जा रही है. माघ मेले का अगला और अंतिम स्नान पर्व 18 फरवरी को महाशिवरात्रि को होगा जिसके साथ माघ मेला संपन्न हो जाएगा.