Twitter पर नाइजीरिया ने लगाया बैन, भारतीय माइक्रोब्लॉगिंग प्लेटफॉर्म Koo को अपनाया

1 जून को नाइजीरिया के राष्ट्रपति मुहम्मदू बुहारी के कुछ ट्वीटस को ट्विटर ने यह कहते हुए बैन कर दिया था कि ये उनके गाइडलाइन का उल्लंघन कर रहा है, जिसके बाद से ही सरकार और ट्विटर के बीच तनाव शुरू हो गया था.

ट्विटर (Photo Credits: IANS)

नाइजीरियाई सरकार ने लगभग एक हफ्ते पहले ट्विटर (Twitter) को अनिश्चित समय के लिए बैन (Ban)  कर दिया था. ट्विटर बैन की खबर के कुछ समय बाद ही भारत (India) के माइक्रोब्लॉगिंग प्लेटफॉर्म कू (Koo) ने नाइजीरिया में सेवा शुरू करने का ऐलान किया था. अब नाइजीरियाई सरकार ने कू को जॉइन कर लिया है. कू ने नाइजीरिया में सेवा शुरू करने के ऐलान के वक्त कहा था कि वो प्लेटफॉर्म पर वहां की स्थानीय भाषा जोड़ने का काम भी कर रहा है. हालांकि, नाइजीरियाई सरकार ने कहा है कि ट्विटर निलंबित करने मुद्दों को हल करने के लिए अब बातचीत करना चाहता है. नाइजीरिया के सूचना और संस्कृति मंत्री लाई मोहम्मद ने बताया कि उन्हें ट्विटर से एक संदेश मिला, जिसमें सरकार के साथ बातचीत की इच्छा जताई गई है.

ट्विटर क्यों हुआ था बैन?

बीते 1 जून को नाइजीरिया के राष्ट्रपति मुहम्मदू बुहारी के कुछ ट्वीटस को ट्विटर ने यह कहते हुए बैन कर दिया था कि ये उनके गाइडलाइन का उल्लंघन कर रहा है, जिसके बाद से ही सरकार और ट्विटर के बीच तनाव शुरू हो गया था. नाइजीरिया ने ट्विटर पर देश की कॉरपोरेट मौजूदगी को कमजोर करने का आरोप लगते हुए उसे बैन कर दिया था.

क्या है कू?

कू एक माइक्रो-ब्लॉगिंग प्लेटफॉर्म है, जहां यूजर अलग-अलग मुद्दों पर अपने विचार और प्रतिक्रिया दे सकते हैं. बेंगलुरु के अप्रमेय राधाकृष्णन ने पिछले साल इस ऐप को डिवेलप किया था. कू ने बीते वर्ष अगस्त 2020 में भारत सरकार द्वारा आयोजित आत्मनिर्भर ऐप इनोवेशन चैलेंज को भी जीता था. कू ऐप का इंटरफेस और इसमें मिलने वाले लगभग सभी फीचर्स ट्विटर जैसे ही हैं.

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