Fact Check: असम के लोगों के इम्यून सिस्टम पर ICMR करेगा अध्ययन, क्योंकि उनमें नहीं मिले हैं कोविड-19 के मामले? PIB से जानें इस वायरल मैसेज में किए जा रहे दावे का सच

फर्जी खबरों की इस भीड़ में एक नई खबर वायरल हो रही है, जिसमें दावा किया जा रहा है कि पूरे भारत में किसी भी स्वदेशी असामी में कोविड-19 संक्रमण का एक भी मामला नहीं मिला है, जिसके बाद भारतीय चिकित्सा अनुसंधान परिषद उनके इम्यून सिस्टम पर एक अध्ययन कर सकता है. हालांकि पीआईबी फैक्ट चेक में इस दावे को फर्जी और निराधार पाया गया है.

असमियों के इम्यून सिस्टम पर अध्ययन करेगा ICMR (Photo Credits: PIB)

Fact Check: भारत में कोरोना वायरस महामारी (Coronavirus Pandemic) के बीच फर्जी खबरों और गलत जानकारियों वाले मैसेज सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर आग की तरह तेजी से फैल रहे हैं. एक तरह जहां हमारा देश कोरोना वायरस महामारी के संकट से जूझ रहा है तो वहीं दूसरी तरफ इस हालात में भी फेसबुक (Facebook), ट्विटर (Twitter) और वॉट्सऐप (WhatsApp) सहित अन्य सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर फर्जी खबरों (Fake News) की भरमार लगी हुई है. इन खबरों के कारण लोगों में कोविड-19 (COVID-19) को लेकर दहशत और ज्यादा बढ़ गई है. फर्जी खबरों की इस भीड़ में एक नई खबर वायरल हो रही है, जिसमें दावा किया जा रहा है कि पूरे भारत में किसी भी स्वदेशी असमी (Indigenous Assamese) में कोविड-19 संक्रमण का एक भी मामला नहीं मिला है, जिसके बाद भारतीय चिकित्सा अनुसंधान परिषद (Indian Council of Medical Research) उनके इम्यून सिस्टम पर एक अध्ययन कर सकता है.

ट्वीट में दावा किया गया है कि आईसीएमआर (ICMR) स्वदेशी असमी लोगों की प्रतिरक्षा प्रणाली पर अध्ययन कर सकता है, क्योंकि उनमें कोविड-19 का एक भी सकारात्मक मामला सामने नहीं आया है. हालांकि इस ट्वीट के जवाब में ICMR के महानिदेशक बलराम भार्गव (Prof. Balram Bhargava) ने कहा कि ICMR द्वारा इस समय इस पहलू पर कोई अध्ययन नहीं किया गया है. यह भी पढ़ें: Fact Check: क्या RBI के पूर्व गवर्नर रघुराम राजन ने की थी IMF Webinar सेशन की अध्यक्षता? जानें वॉट्सऐप पर वायरल हो रहे मैसेज की सच्चाई

सोशल मीडिया यूजर का मैसेज

PIB गुवाहाटी ने किया फैक्ट चेक

बता दें कि कोरोना वायरस के खिलाफ जारी लड़ाई में एकता और भाईचारे की अपील करते हुए पीएम मोदी ने लिंकडिन (LinkedIn) पर कहा कि कोविड-19 जाति, धर्म, रंग, भाषा, पंथ या सीमा नहीं देखता है. असमियों के इम्यून सिस्टम पर अध्ययन किए जाने के दावे की सत्यता को जानने के लिए प्रेस सूचना ब्यूरो (पीआईबी) गुवाहाटी ने तथ्य की जांच की, जिसमें इस खबर को फर्जी और निराधार बताया गया है. इसके साथ ही पीआईबी ने ऐसी झूठी जानकारी फैलाने से बचने की सलाह दी है. यह भी पढ़ें: Fact Check: रिटायर लोगों के पेंशन में 20 फीसदी की कटौती करेगी केंद्र सरकार? PIB ने बताई सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे इस खबर की सच्चाई

गौरतलब है कि बुधवार को असम के स्वास्थ्य मंत्री हिमंत बिस्वा शर्मा (Himanta Biswa Sarma) ने कहा था कि राज्य में सातवें दिन लगातार कोविड-19 का कोई नया मामला दर्ज नहीं किया गया है. हालांकि वर्तमान समय में असम में कोरोना वायरस के कुल 34 मामले हैं, जिनमें 14 सक्रिय हैं, जबकि 19 लोग इलाज के जरिए ठीक हो चुके हैं और कोरोना संक्रमण के चलते एक मरीज को मौत हुई है.

Fact check

Claim

ICMR स्वदेशी असमी लोगों के इम्यून सिस्टम पर अध्ययन करेगा, क्योंकि पूरे देश में किसी भी स्वदेशी असमी में कोविड-19 के एक भी मामले की पुष्टि नहीं हुई है.

Conclusion

ICMR के महानिदेशक बलराम भार्गव ने कहा कि यह दावा फर्जी है. फिलहाल आईसीएमआर ने इस पहलू पर कोई अध्ययन नहीं किया है.

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