Fact Check: कबूतर से महाराष्ट्र के पनवेल में फैल रहा घातक निमोनिया? जानिए वायरल पोस्ट का सच
देश के अधिकांश हिस्से कोरोना वायरस (Coronavirus) महामारी से जूझ रहे है. सबसे बुरा हाल महाराष्ट्र (Maharashtra) का है. जहां जानलेवा वायरस की चपेट में एक लाख से अधिक लोग आ चुके है. इस बीच सोशल मीडिया खासकर फेसबुक, व्हाट्सएप, ट्विटर के जरिए कई फर्जी खबरे और गलत जानकारियां फैल रही है.
Fact Check: देश के अधिकांश हिस्से कोरोना वायरस (Coronavirus) महामारी से जूझ रहे है. सबसे बुरा हाल महाराष्ट्र (Maharashtra) का है. जहां जानलेवा वायरस की चपेट में एक लाख से अधिक लोग आ चुके है. इस बीच सोशल मीडिया खासकर फेसबुक, व्हाट्सएप, ट्विटर के जरिए कई फर्जी खबरे और गलत जानकारियां फैल रही है. ऐसा ही एक नया मामला पनवेल (Panvel) से भी सामने आया है. जहां एक वायरल पोस्ट में दावा किया गया है कि कबूतर से शहर में घातक निमोनिया फैल रहा है. साथ ही लोगों को सावधान रहने की भी हिदायत दी गई है.
सोशल मीडिया पर दावा किया जा रहा है कि महाराष्ट्र के पनवेल क्षेत्र में कबूतर अति संवेदनशील निमोनिया (Hyper Sensitive Pneumonia) उत्पन्न कर रहे हैं. इस दावे की पुष्टी के लिए पनवेल सिटी म्यूनिसिपल कॉर्पोरेशन (PCMC) के एक नोटिस भी इस्तेमाल किया गया है. जिस वजह से स्थानीय रहवासी इस बात को सच मान कर दहशत में है. देश में फिर से लागू होगा सख्त लॉकडाउन? यहां जानें वायरल पोस्ट के पीछे की सच्चाई
लेटेस्टली की फैक्ट चेक (LatestLY Fact Check) टीम ने पाया कि सोशल मीडिया पर शेयर किया जा रहा यह सर्कुलर पनवेल महानगर पालिका ने कभी जारी ही नहीं किया है. बल्कि यह पिछले साल भी इंटरनेट पर वायरल हुआ था. यह पहली बार मार्च 2019 में सामने आया था. तब पीसीएमसी आयुक्त गणेश देशमुख (Ganesh Deshmukh) ने टाइम्स ऑफ इंडिया से बात करते हुए बताया था कि नगर निगम द्वारा ऐसा कोई नोटिस जारी नहीं किया गया है.
हालांकि, पीसीएमसी ने कबूतरों को खिलाने को लेकर एक नोटिस जारी किया था. दरअसल स्थानीय निवासियों ने पक्षियों द्वारा परिसर को गंदा करने की शिकायत की थी. साल 2008 में हुए एक अध्ययन में पाया गया कि कबूतर से 60 से अधिक प्रकार की श्वसन संबंधी बीमारियां हो सकती हैं.