खरगोन लोकसभा सीट: बीजेपी जीत की हैट्रिक लगाने के लिए तैयार, गजेंद्र पटेल ने गोविंद मुजाल्दा को पछाड़ा

लोकसभा चुनाव के सातवें और अंतिम चरण का प्रचार अभियान जोरों पर है. सभी राजनीतिक दलों के वरिष्‍ठ नेता विभिन्न स्थानों पर धुनाधर रोड-शो और जनसभाएं कर रहे हैं. इसी चरण में मध्यप्रदेश की खरगोन सहित आठ निर्वाचन क्षेत्रों में रविवार को मतदान होगा.

खरगोन लोकसभा सीट (File Photo)

भोपाल: लोकसभा चुनाव 2019 जो रविवार 19 मई को संपन्न हुए उनके शुरुआती रुझान आने शुरू हो गए हैं. इसी कड़ी में मध्य प्रदेश के खरगोन संसदीय सीट के रुझान भी आ रहे हैं. इस सीट से बीजेपी के गजेंद्र पटेल और कांग्रेस के गोविंद मुजाल्दा मैदान में हैं. बता दें कि लोकसभा चुनावों के लिहाज से मध्य प्रदेश एक अहम राज्य हैं जिसमें 29 लोकसभा सीटें है. सूबे में चार चरणों में लोकसभा चुनाव हुए थे. रविवार को कई मीडिया संस्थानों ने वोटरों का मूड बताने के लिए एक्जिट पोल जारी किए. ज्यादातर एग्जिट पोल के नतीजों में बीजेपी के मुकाबले कांग्रेस बहुत पीछे दिख रही है.

पिछले दस सालों से खरगोन संसदीय क्षेत्र पर बीजेपी का राज रहा है. राज्य की दक्षिणी पश्चिमी सीमा पर स्थित खरगोन में पहला संसदीय चुनाव साल 1962 में हुआ. अनुसूचित जनजाति की आबादी अच्छी खासी होने के कारण यह सीट अनुसूचित जनजाति के उम्मीदवार के लिए आरक्षित की गई है. खरगौन लोकसभा सीट से 1962 में भारतीय जनसंघ, 1967 में कांग्रेस, 1971 में दोबारा जनसंघ, 1977 में भारतीय लोकदल, 1980 और 1984 में कांग्रेस, 1989-1998 में लगातार चार बार बीजेपी जीती. इसके बाद 1999 में कांग्रेस, 2004 में बीजेपी, 2007 में कांग्रेस, 2009 में फिर से बीजेपी ने खरगोन में वापसी की.

खरगोन का 2014 में हाल-

सुभाष पटेल (बीजेपी)- 6 लाख 49 हजार 354 वोट

रमेश पटेल (कांग्रेस)- 3 लाख 91 हजार 475 वोट

बीजेपी ने अबकी बार खरगोन के संसदीय चुनाव में जीत की हैट्रिक लगाने के लिए गजेंद्र पटेल को अपना उम्मीदवार बनाया है. जबकि कांग्रेस ने खरगोन में वापसी के लिए डॉ. गोविंद मुजाल्दा को चुनावी रण में उतारा है. गौरतलब हो कि पिछले साल नवंबर में हुए विधानसभा चुनावों के दौरान 15 साल बाद सूबे की सत्ता में लौटी कांग्रेस का उत्साह मौजूदा लोकसभा चुनावों में उफान पर है.

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