निजी मौसम पूर्वानुमान एजेंसी Skymet ने मंगलवार को मानसून का अनुमान जाहिर किया. मौसम एजेंसी के अनुसार इस साल जून और सितंबर के बीच भारत में 'सामान्य' मानसून रहने की उम्मीद है. स्काईमेट ने मंगलवार को कहा कि मानसून की बारिश 868.6 मिमी की लंबी अवधि के औसत (LPA) का 102 प्रतिशत होने की उम्मीद है. चार महीने की अवधि. जून से सितंबर तक मध्य और पश्चिमी भागों में सामान्य से अधिक बारिश होगी. Read Also: Explained: इस साल झुलसा देगी भीषण गर्मी, जानिए मौसम वैज्ञानिक ऐसा क्यों कह रहे हैं? क्या है कारण.
मौसम पूर्वानुमानकर्ता ने कहा कि उत्तरी और दक्षिणी हिस्सों में सामान्य बारिश होगी और उत्तर-पूर्व भारत और पूर्वी हिस्सों में सामान्य से कम बारिश होगी. 'मानसून पूर्वानुमान 2024' रिपोर्ट बताती है कि भारत के दक्षिण, पश्चिम और उत्तर-पश्चिमी क्षेत्रों में अनुकूल वर्षा होगी. महाराष्ट्र और मध्य प्रदेश जैसे मुख्य मानसून वर्षा आधारित क्षेत्रों में पर्याप्त वर्षा होने की उम्मीद है.
बिहार, झारखंड, ओडिशा और पश्चिम बंगाल सहित पूर्वी राज्यों में सामान्य से कम बारिश का खतरा है. पूर्वोत्तर भारत में सीजन की पहली छमाही में सामान्य से कम बारिश हो सकती है. स्काईमेट ने आगे कहा कि केरल, कोंकण, कर्नाटक और गोवा में सामान्य से अधिक बारिश होगी. देश के मध्य भागों में सामान्य बारिश होगी.
स्काईमेट के मुताबिक, अलनीनो काफी तेजी से ला नीना में बदल रहा है. यह अच्छा संकेत है. अलनीनो का ला नीना में बदलना अच्छे मानसून का कारण बनता रहा है. हालांकि, मानसून की शुरुआत में अल नीनो के थोड़े असर के कारण मानसून पर थोड़ा असर पड़ सकता है, लेकिन दूसरे चरण में मानसून भरपाई कर लेगा. अल नीना से ला नीना में परिवर्तन के चलते सीजन की शुरुआत में देरी हो सकती है.