मनी लॉन्ड्रिंग मामला: जनहित याचिका में सत्येंद्र जैन, नवाब मलिक को बर्खास्त करने की मांग
सुप्रीम कोर्ट में एक जनहित याचिका दायर कर दिल्ली के कैबिनेट मंत्री सत्येंद्र जैन और महाराष्ट्र के कैबिनेट मंत्री नवाब मलिक के खिलाफ कथित मनी लॉन्ड्रिंग मामलों की जांच को लेकर उन्हें 'बर्खास्त' करने का निर्देश देने की मांग की गई है.
नई दिल्ली, 16 जून : सुप्रीम कोर्ट में एक जनहित याचिका दायर कर दिल्ली के कैबिनेट मंत्री सत्येंद्र जैन (Satyendra Jain) और महाराष्ट्र के कैबिनेट मंत्री नवाब मलिक के खिलाफ कथित मनी लॉन्ड्रिंग मामलों की जांच को लेकर उन्हें 'बर्खास्त' करने का निर्देश देने की मांग की गई है. याचिका में, भाजपा नेता एवं वकील अश्विनी उपाध्याय ने अदालत से यह सुनिश्चित करने का आग्रह किया कि किसी भी मंत्री को दो दिनों तक न्यायिक हिरासत में रहने के बाद उसके पद से अस्थायी रूप से वंचित कर देना चाहिए. मंत्री न केवल लोकसेवक होते हैं, बल्कि संविधान की शपथ लेते हैं. अन्य लोकसेवकों आईएएस, आईपीएस, जजों के साथ भी ऐसा ही होता है.
याचिकाकर्ता ने अपनी दलील में महाराष्ट्र सरकार को अपने कैबिनेट मंत्री नवाब मलिक को बर्खास्त करने का निर्देश देने की मांग की है, जिन्हें 23 फरवरी को गिरफ्तार किया गया था और माफिया डॉन दाऊद इब्राहीम से जुड़े काले धन, बेनामी संपत्तियों, मनी लॉन्ड्रिंग और आय से अधिक संपत्ति के आरोपों में न्यायिक हिरासत में हैं. यह भी पढ़ें : Road Accident: मध्य प्रदेश में तीन सड़क हादसों में 10 लोगों की मौत
याचिका में दिल्ली सरकार से कैबिनेट मंत्री सत्येंद्र जैन को बर्खास्त करने की भी मांग की गई. जैन 1 मई को गिरफ्तार किया गया था और काले धन, बेनामी संपत्तियों, मनी लॉन्ड्रिंग और आय से अधिक संपत्ति के मामलों में न्यायिक हिरासत में हैं. याचिका के अनुसार, अदालत को राजनीति के अपराधीकरण की समस्या को नियंत्रित करने के लिए कदम उठाने चाहिए.