पायलट ने 3100 फिट की ऊंचाई पर गलती से बंद किया विमान का इंजन, हवा में अटकी 156 यात्रियों की जान

बेंगलुरु इंटरनेशनल एयरपोर्ट से पुणे के लिए उड़ान भरने के बाद हवा में गोएयर (GoAir) विमान के इंजन में अचानक से खराबी आ गई, जिसके बाद विमान की आपात लैडिंग कराई गई.

प्रतीकात्मक तस्वीर (Photo Credits: Pixabay)

बेंगलुरु इंटरनेशनल एयरपोर्ट से बुधवार को पुणे के लिए उड़ान भरने के बाद हवा में गोएयर (GoAir) विमान के इंजन में अचानक से खराबी आ गई, जिसके बाद विमान की आपात लैडिंग कराई गई. इस विमान में 283 यात्री सवार थे. वहीं हाल ही में गोएयर से जुड़ी एक ऐसी रिपोर्ट सामने आई है जिसकी सच्चाई जानकर आप सन्न रह जाएंगे.

डायरेक्टोरेट जनरल ऑफ सिविल एविएशन (डीजीसीए) की रिपोर्ट के मुताबिक गोएयर के पायलटों ने दिल्ली से मुंबई जा रही उड़ान संख्या ए320 के एक इंजन को लेकर बड़ी लापरवाही की थी. ये मामला 21 जून 2017 का है. जब सुबह 5.58 बजे मुंबई आ रही गोएयर की फ्लाइट से पक्षी टकरा गया और हजारों फिट की उचाई पर विमान का इंजन बंद पड़ गया. विमान में 156 यात्री सवार थे.

इस आपात स्थिति में विमान पायलटों ने बड़ी गलती कर दी. दरअसल पायलटों ने गलती से विमान का सही इंजन बंद कर दिया. जिस वक्त विमान का इंजन बंद किया गया, उस वक्त यह 3100 फीट की ऊंचाई पर था. जब पायलटों को गलती का पता चला तो उन्होंने तुरंत दूसरा इंजन शुरू किया गया लेकिन वह तत्काल चालू नहीं हुआ. पायलटों से इसके बाद काफी कोशिश की, तब जाकर 3108 फीट की ऊंचाई पर इंजन ने काम करना शुरू किया. हालांकि जब 3330 फीट की ऊंचाई पर भी दिक्कत दूर नहीं हुई तो विमान को वापस दिल्ली एयरपोर्ट पर लाया गया.

बताया जा रहा है विमान खराब इंजन के सहारे करीब तीन मिनट तक हवा में उड़ता रहा. जांच में पता चला की एक इंजन का दो ब्लेड पक्षी के टकराने से खराब हो गया. डीजीसीए ने पायलटों को खराबी का गलत आकलन करने और तय मानकों का पालन नहीं करने का दोषी करार दिया है. डीजीसीए ने पायलटों के खिलाफ कार्यवाही करने के निर्देश दिए हैं.

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