COVID वैक्सीन की कमी के आरोप के बाद एक्शन में आया स्वास्थ्य मंत्रालय, दिल्ली-पंजाब और महाराष्ट्र को वैक्सीनेशन अभियान में सुधार लाने का दिया निर्देश

भारत में पिछले 24 घंटे में कोरोना वायरस के अब तक के सबसे ज्यादा 1,26,789 मामले दर्ज किए गए. देश के कई राज्यों में हालात चिंताजनक हो गए है. इस बीच महाराष्ट्र समेत कई राज्यों ने वैक्सीन की कमी होने का मुद्दा उठाया है. हालांकि केंद्र सरकार ने वैक्सीन की किसी भी प्रकार की कमी से इनकार किया है.

वैक्सीनेशन (Photo Credits: Twitter/@mybmc)

नई दिल्ली: भारत में पिछले 24 घंटे में कोरोना वायरस के अब तक के सबसे ज्यादा 1,26,789 मामले दर्ज किए गए. देश के कई राज्यों में हालात चिंताजनक हो गए है. इस बीच महाराष्ट्र समेत कई राज्यों ने वैक्सीन की कमी होने का मुद्दा उठाया है. हालांकि केंद्र सरकार ने वैक्सीन की किसी भी प्रकार की कमी से इनकार किया है. गुरुवार को केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने दिल्ली, पंजाब और महाराष्ट्र को वैक्सीनेशन अभियान में सुधार लाने का निर्देश दिया है. देश में कोविड-19 के एक दिन में 1,26,789 नए मामले

केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के अतिरिक्त सचिव मनोहर अगनानी (Manohar Agnani) ने पंजाब, दिल्ली, महाराष्ट्र के प्रिंसिपल सेक्रेटरी को पत्र लिखकर वैक्सीनेशन अभियान में तत्काल सुधार लेन की बात कही है. पत्र में इन राज्यों को वैक्सीनेशन ड्राइव में तेजी के लिए आवश्यक सुधारात्मक कार्रवाई करने के लिए कहा गया है.

उल्लेखनीय है कि कोरोना वायरस से सबसे ज्यादा प्रभावित महाराष्ट्र के स्वास्थ्य मंत्री राजेश टोपे ने बुधवार को कहा कि राज्य के पास कोविड-19 के टीके की 14 लाख खुराकें ही बची हुयी हैं जो दो या तीन दिन ही चल पाएंगी और टीकों की कमी के कारण कई वैक्सीनेशन केंद्र बंद करने पड़ रहे हैं. हमें हर हफ्ते 40 लाख खुराकों की जरूरत है. इससे हम एक सप्ताह में हर दिन छह लाख खुराक दे पाएंगे. पर्याप्त टीके नहीं मिल पाए हैं. जबकि मुंबई की मेयर किशोरी पेडनेकर स्वदेशी वैक्सीन कोवैक्सीन और कोविशील्ड की कमी की बात कही है. उन्होंने कहा कि मुंबई में 2-3 दिन में दूसरी डोज वालों को भी वैक्सीन देना मुश्किल हो जाएगा. केंद्र सरकार को मुंबई और महाराष्ट्र पर ज्यादा ध्यान देना चाहिए. स्वास्थ्य मंत्री ने भी केंद्र से टीके की आपूर्ति में महाराष्ट्र को प्राथमिकता देने को कहा क्योंकि राज्य में मृतकों की संख्या 50,000 को पार कर चुकी है.

दिल्ली के स्वास्थ्य मंत्री सत्येंद्र जैन ने भी वैक्सीन को लेकर कल कहा “दिल्ली में कोविड-19 की पॉजिटिविटी रेट 5% या उससे ज़्यादा चल रहा है. दिल्ली सरकार अस्पतालों में बेड बढ़ा रही है, पिछले तीन दिन में 2,000 से ज़्यादा बेड बढ़ चुके हैं, आने वाले दो-तीन दिन में 2,000-2,500 बेड और बढ़ जाएंगे:

वैक्सीन की कमी पर केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री हर्षवर्धन ने कहा “महाराष्ट्र सरकार द्वारा ज़िम्मेदारी से कार्य न करना समझ से परे है. लोगों में दहशत फैलाना मूर्खता है. वैक्सीन आपूर्ति की निगरानी लगातार की जा रही है और राज्य सरकारों को इसके बारे में नियमित रूप से अवगत कराया जा रहा है. इसी तरह हमें छत्तीसगढ़ के नेताओं द्वारा टिप्पणियां प्राप्त हुई हैं जिनका उद्देश्य वैक्सीनेशन पर गलत सूचना देना और भय फैलाना है. बेहतर होगा कि राज्य सरकार राजनीति पर ध्यान देने की बजाय अपनी आधारभूत स्वास्थ्य संरचना पर जोर दें.”

उन्होंने कहा कि कर्नाटक, राजस्थान और गुजरात में टेस्टिंग की गुणवत्ता में सुधार करने की आवश्यकता है. पंजाब में मृत्यु दर में गिरावट के लिए घातक मामलों को चिन्हित करके जल्द अस्पताल में भर्ती कराने की जरूरत है. महाराष्ट्र में कोविड-19 की स्थिति ‘गंभीर’, केंद्र ने मदद का आश्वासन दिया : शरद पवार

केंद्रीय मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने कहा कि महाराष्ट्र सरकार को वैक्सीनेशन पर राजनीति नहीं करनी चाहिए. अब तक महाराष्ट्र को 1,06,19,190 कोरोना वैक्सीन की डोज उपलब्ध कराई गई है, जिसमें से 90,53,523 डोज का इस्तेमाल किया गया है.

ओडिशा के स्वास्थ्य मंत्री नबा दास ने कहा “अभी हमारे पास सिर्फ 5.34 लाख वैक्सीन डोज है. हम हर दिन 2.5 लाख वैक्सीनेशन करते हैं. हमने केंद्र को चिट्ठी लिखा है कि हमें कम से कम 25 लाख वैक्सीन डोज भेज दीजिए ताकि हम वैक्सीनेशन ठीक से कर सकें. यह दो दिन में नहीं आया तो हमें वैक्सीनेशन बंद करना पड़ेगा.”

वहीं, दिल्ली के स्वास्थ्य मंत्री सत्येंद्र जैन ने बताया कि दिल्ली में अभी कोरोना वैक्सीन का चार-पांच दिन का स्टॉक बचा है. कोरोना वायरस के काफी सारे नए मामले युवाओं के हैं. दिल्ली में संक्रमण दर 6% पार गई है. इस बार कोरोना काफी तेज़ी से फैल रहा है लेकिन मौतें कम हैं.

केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने बुधवार को कहा कि कोविड-19 रोधी वैक्सीनेशन में अमेरिका को पीछे छोड़ते हुए भारत दुनिया में सबसे तेज वैक्सीनेशन वाला देश बन गया है. भारत में रोजाना औसतन 30,93,861 खुराकें दी जा रही हैं. देश में अब तक कोविड-19 टीके की 9 करोड़ से अधिक खुराकें दी जा चुकी हैं.

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