![इलाहाबाद के बाद अब बदलेगा शिमला का नाम, बीजेपी ने किया इस अभियान का समर्थन इलाहाबाद के बाद अब बदलेगा शिमला का नाम, बीजेपी ने किया इस अभियान का समर्थन](https://hist1.latestly.com/wp-content/uploads/2018/10/allahabad-shimla-380x214.jpg)
शिमला: देश में शहरों के नाम बदलने की कवायद तेजी से चल रही है. हाल ही में उत्तर प्रदेश के इलाहाबाद का नाम बदलकर प्रयागराज किया गया है. अब नाम बदलने की इस फेहरिस्त में हिमाचल प्रदेश के शिमला का नाम भी शामिल हो गया है. खबर है कि पहाड़ों की रानी शिमला का नाम बदलकर श्यामला किया जा सकता है और इसके लिए अभियान भी शुरू हो गया है. बता दें कि इस अभियान को सत्ता में काबिज बीजेपी पार्टी का भी पूरा समर्थन मिल रहा है. उधर, कांग्रेस ने इसे लेकर बीजेपी पर सवाल उठाए हैं.
बता दें कि शिमला का नाम बदलकर श्यामला किए जाने के इस अभियान का समर्थन करते हुए बीजेपी नेता और राज्य के स्वास्थ्य मंत्री विपिन सिंह परमार का कहना है कि देश के विभिन्न क्षेत्रों के पौराणिक आधार पर नाम थे और उन नामों को एक बार फिर रखने में कोई बुराई नहीं है.
एक ओर जहां इस अभियान का समर्थन किया जा रहा है तो वहीं दूसरी तरफ कई लोग इसका विरोध भी कर रहे हैं. हिमाचल प्रदेश कांग्रेस के वरिष्ठ नेता हरभजन सिंह भज्जी ने इस अभियान पर सवाल उठाते हुए पूछा है कि आखिर इसका औचित्य क्या है? उन्होंने कहा कि शिमला एक ऐतिहासिक शहर है और इसका नाम बिल्कुल भी नहीं बदला जाना चाहिए. इस शहर का नाम बदलने से क्या विकास हो जाएगा? इसलिए शिमला का नाम बदलने की बजाय सरकार इसके विकास पर ध्यान दे तो ज्यादा बेहतर होगा. यह भी पढ़ें: इलाहाबाद फिर बना 444 साल बाद प्रयागराज, यूपी कैबिनेट ने दी मंजूरी
बता दें कि इस शहर को अंग्रेजों ने साल 1864 में बसाया था और अंग्रेजों के शासन काल में यह ब्रिटिश साम्राज्य की ग्रीष्मकालीन राजधानी हुआ करती थी. 1947 में आजादी मिलने तक भी शिमला का यही दर्जा हुआ करता था.