नयी दिल्ली, सात अक्टूबर निर्वाचित सरकारों के प्रमुख के रूप में पहले मुख्यमंत्री और अब प्रधानमंत्री के कुल कार्यकाल के 20वें साल में प्रवेश करते हुए नरेंद्र मोदी ने बुधवार को कहा कि देशहित और गरीबों का कल्याण, हमेशा उनके लिए सर्वोपरि है और हमेशा सर्वोपरि रहेगा।
इस अवसर पर उन्होंने ट्वीट कर कहा, ‘‘मैं अपने-आपको, आपके आशीर्वाद के योग्य, आपके प्रेम के योग्य बनाने के लिए निरंतर प्रयासरत रहूंगा।’’
उन्होंने कहा, ‘‘देशवासियों को एक बार फिर से विश्वास दिलाता हूं कि देशहित और गरीबों का कल्याण, यही मेरे लिए सर्वोपरि है और हमेशा सर्वोपरि रहेगा।’’
मोदी ने कहा, ‘‘कोई व्यक्ति कभी यह दावा नहीं कर सकता कि मुझमें कोई कमी नहीं है। इतने महत्वपूर्ण और जिम्मेदारी भरे पदों पर एक लंबा कालखंड… एक मनुष्य होने के नाते मुझसे भी गलतियां हो सकती हैं।’’
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प्रधानमंत्री ने कहा कि यह उनका सौभाग्य है कि उनकी इन सीमाओं और मर्यादाओं के बावजूद सभी का उन पर प्रेम उत्तरोत्तर बढ़ रहा है।
उन्होंने लिखा है, ‘‘आज जिस प्रकार देश के कोने-कोने से आप सबने आशीर्वाद और प्रेम बरसाए हैं, उसका आभार प्रकट करने के लिए आज मेरे शब्दों की शक्ति कम पड़ रही है!’’
उन्होंने कहा, ‘‘देश सेवा, गरीबों के कल्याण और भारत को नई ऊंचाइयों पर ले जाने का हम सबका जो संकल्प है, उसे आपका आशीर्वाद, आपका प्रेम और मजबूत करेगा।’’
प्रधानमंत्री ने कहा, ‘‘बचपन से मेरे मन में एक बात संस्कारित हुई कि जनता-जनार्दन ईश्वर का रूप होती है और लोकतंत्र में ईश्वर की तरह ही शक्तिमान होती है। इतने लंबे कालखंड तक देशवासियों ने मुझे जो जिम्मेदारियां सौंपी हैं, उन्हें निभाने के लिए मैंने पूरी तरह से प्रामाणिक और समर्पित प्रयास किए हैं।’’
पिछले महीने ही 70 साल के हुए प्रधानमंत्री मोदी 2001 में अपने गृह राज्य गुजरात के मुख्यमंत्री बने और 13 साल तक पद पर रहने के बाद मई 2014 में उन्होंने देश के प्रधानमंत्री के रूप में शपथ ग्रहण किया।
इससे पहले वह राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ और भाजपा के साथ संगठन के विभिन्न स्तरों पर जुड़े रहे हैं।
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