देश की खबरें | राजस्थान : भाजपा का विद्युत उपकेंद्रों पर धरना

Get Latest हिन्दी समाचार, Breaking News on India at LatestLY हिन्दी. राजस्थान की कांग्रेस सरकार के खिलाफ अपने जन आंदोलन के तहत भारतीय जनता पार्टी के कार्यकर्ताओं ने सोमवार को सभी जिला, बूथ व मंडल स्तर पर धरना दिए और विद्युत उपकेंद्रों (जीएसएस) पर अधिकारियों को ज्ञापन सौंपे।

एनडीआरएफ/प्रतीकात्मक तस्वीर (Photo Credits: ANI)

जयपुर, 31 अगस्त राजस्थान की कांग्रेस सरकार के खिलाफ अपने जन आंदोलन के तहत भारतीय जनता पार्टी के कार्यकर्ताओं ने सोमवार को सभी जिला, बूथ व मंडल स्तर पर धरना दिए और विद्युत उपकेंद्रों (जीएसएस) पर अधिकारियों को ज्ञापन सौंपे।

भाजपा प्रदेशाध्यक्ष सतीश पूनियां, नेता प्रतिपक्ष गुलाबचंद कटारिया, उपनेता प्रतिपक्ष राजेन्द्र राठौड़, पार्टी सांसदों, विधायकों व कार्यकर्ताओं ने प्रदेश के सभी जीएसएस पर धरना-प्रदर्शन कर ज्ञापन दिये।

यह भी पढ़े | Pranab Mukherjee Dies At 84: पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी का 84 साल की उम्र में निधन, देश में 7 के लिए राजकीय शोक की घोषणा.

भाजपा कोरोना वायरस काल के चार महीने के बिजली बिल माफ करने, बढ़ी हुई बिजली दरें वापस लेने, फ्यूल सरचार्ज, स्थायी शुल्क के नाम पर किसानों व आमजन से ‘वसूली’ रोकने की मांग कर रही है।

भाजपा प्रदेशाध्यक्ष पूनियां ने आमेर के मानपुरा माचेड़ी में जेवीवीएनएल उपचौकी में ज्ञापन सौंपा।

यह भी पढ़े | Mission Begin Again: महाराष्ट्र सरकार ने 30 सितंबर तक बढ़ाया लॉकडाउन, होटलों को खोलने की मिली इजाजत, फिलहाल नहीं चलेगी मेट्रो.

पूनियां ने कहा कि राज्य भर के सभी जीएसएस पर भाजपा सांसदों व विधायकों, पूर्व सांसदों व विधायकों, पदाधिकारियों व कार्यकर्ताओं ने किसानों को प्रतिमाह 833 रूपये का अनुदान, किसानों के लिए पूर्ण कर्जमाफी, टिड्डी के कारण फसलों को हुए नुकसान का मुआवजा, लम्बित भर्तियों को पूरा करने, बेरोजगारी भत्ता जारी रखने, कानून व्यवस्था को दुरूस्त करने और स्कूल फीस को लेकर कोई उचित रास्ता निकालने सहित विभिन्न मांगों को लेकर धरना प्रदर्शन कर राज्य सरकार पर निशाना साधा।

पूनियां ने कांग्रेस सरकार पर अपने चुनावी वादों पर खरा नहीं उतरने का आरोप लगाते हुए कहा कि राजस्थान की जनता की अदालत में यह मुकदमा दर्ज हो गया है कि अशोक गहलोत ‘‘जनता को झूठ बोलकर’’ सत्ता पर काबिज हुए हैं। यह जनता जान चुकी है और इसका फैसला भी जनता की अदालत में ही होगा।

(यह सिंडिकेटेड न्यूज़ फीड से अनएडिटेड और ऑटो-जेनरेटेड स्टोरी है, ऐसी संभावना है कि लेटेस्टली स्टाफ द्वारा इसमें कोई बदलाव या एडिट नहीं किया गया है)

Share Now

\