जयपुर, चार दिसंबर दौसा जिले के लालसोट विधानसभा से भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के विधायक राम बिलास मीणा ने बुधवार को जनसुनवाई के दौरान वन विभाग द्वारा ग्रामीणो के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज किए जाने को लेकर विभाग के एक कर्मचारी को डांट लगाई।
वन विभाग की ओर से सात आठ ग्रामीणों के खिलाफ सरकारी कार्य में बाधा और अनुसूचित जाति/अनुसूचित जनजाति अत्याचार निवारण अधिनियम (एससी/एसटी अधिनियम) के तहत मामला दर्ज करवाने से नाराज मीणा ने बताया उन्होंने विभाग के रेंजर को मुकदमा वापस लेने को कहा है।
उन्होंने बताया कि रेंजर राधेश्याम रैगर ने सात-आठ ग्रामीणों के खिलाफ सरकारी कार्य में बाधा डालने और एससी/ एसटी अधिनियम के तहत मामला दर्ज करवाया था।
मीणा ने बताया कि मुकदमा वापस लेने के लिये मेरे पास संदेंश आया है।
उन्होंने बताया कि सड़क के नजदीक ग्रामीणों का एक खेत था। ग्रामीणों ने खेत और सड़क के बीच में गड्ढों में मिट्टी डलवा दी। इसकी वजह से सड़क किनारे वन विभाग की ओर से लगाये गये पौधे हट गये थे। ग्रामीणों ने विभाग को आश्वासन दिया था कि वे पौधे लगवा देंगे।
विधायक ने बताया कि विभाग के कर्मियों द्वारा ग्रामीणों के खिलाफ मुकदमा दर्ज करवाने की दो घटनाएं हो चुकी हैं।
विधायक द्वारा वन विभाग के कर्मचारी को डांटने का एक वीडियो वायरल हुआ है जिसमें वह कथित तौर पर कहते हुए सुनाई दे रहे हैं, ‘‘आप कल जाकर इनको वापस करोगे … नौकरी करनी है तो…।’’
मीणा यह कहते हुए सुनाई दे रहे हैं, ‘‘दोनों मुकदमें वापस नहीं हुए तो मैं परसों आफिस में आकर आपको विदा करूंगा साफा पहना कर तिलक लगाकर।’’
वन विभाग की ओर से एक और पांच दिसबंर को अवैध खनन, सरकारी संपत्ति को नुकसान पहुंचाने, सरकारी कार्य में बाधा डालने, गाली-गलौज और मारपीट के दो मुकदमें दर्ज कराये गये।
पहला मामला एक दिसंबर को रामगढ़ पचवारा थाने में वन विभाग की सहायक वनपाल हेमलता मीणा ने दर्ज कराया था। यह सरकारी संपत्ति को नुकसान पहुंचाने और गाली गलौज से जुड़ा था।
दूसरा मामला पांच दिसंबर को रेंजर राधेश्याम रैगर ने इसी थाने में दर्ज कराया था। उन्होंने अवैध खनन और वनकर्मियों से मारपीट का मामला दर्ज कराया था।
कुंज
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