पड़ोसी कूटनीति में पाकिस्तान की प्राथमिकता बनी हुयी है : चीन

बीजिंग, 21 मई चीन ने बृहस्पतिवार को कहा कि वह अपनी पड़ोसी कूटनीति में पाकिस्तान को प्राथमिकता देना जारी रखेगा और अपने प्रगाढ़ संबंधों को और मजबूती प्रदान करेगा।

दोनों करीबी मित्र देशों के राजनयिक संबंधों की स्थापना के 69 वर्ष पूरे हुए हैं।

पाकिस्तान ने 1951 में चीन को मान्यता दी थी। भारत ने उससे एक साल पहले ही चीन को मान्यता प्रदान कर दी थी। भारत एशिया का पहला गैर-कम्युनिस्ट देश था जिसने 1950 में चीन के साथ राजनयिक संबंध स्थापित किए थे।

इस्लामी गणराज्य पाकिस्तान के राजनयिक संबंध भले ही देर से स्थापित हुए लेकिन बाद में वह कम्युनिस्ट चीन का सबसे करीबी सहयोगी बन गया। हाल के वर्षों में 60 अरब अमेरिकी डालर के साथ चीन-पाकिस्तान आर्थिक गलियारे के साथ दोनों देशों के संबंध और प्रगाढ़ हुए हैं। यह चीन द्वारा विदेश में किया गया सबसे बड़ा निवेश है।

विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता झाओ ने बृहस्पतिवार को यहां संवाददाताओं से कहा, "आज चीन और पाकिस्तान के राजनयिक संबंधों की 69 वीं वर्षगांठ है। मैं बधाई देता हूं।"

झाओ पहले इस्लामाबाद में चीन के उप राजदूत के रूप में काम कर चुके हैं।

उन्होंने कहा, "मुझे पाकिस्तान में काम करने का सौभाग्य मिला। देश छोड़ने से पहले, मैंने कहा था कि पाकिस्तान ने मेरा दिल चुरा लिया है। मेरा मानना ​​है कि यह दोनों देशों के बीच गहरी मित्रता को दर्शाता है।"

झाओ ने कहा, "भविष्य में, हमें द्विपक्षीय संबंधों के और बढ़ने का पूरा भरोसा है। हम पाकिस्तान को अपनी पड़ोस कूटनीति में प्राथमिकता देना जारी रखेंगे।’’

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