देश की खबरें | मप्र के मुख्यमंत्री यादव ने 70 साल तक राम मंदिर मुद्दा नहीं सुलझाने के लिए कांग्रेस की आलोचना की

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सागर, 26 मार्च मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव ने मंगलवार को करीब 70 साल तक राम मंदिर मुद्दा नहीं सुलझाने के लिए कांग्रेस की आलोचना की।

मुख्यमंत्री मोहन यादव ने कहा कि कांग्रेस ने हिंदुओं और मुसलमानों को धार्मिक आधार पर विभाजित करने के एक हथियार के रूप में इस्तेमाल करने के मकसद से इस मुद्दे को उलझाए रखा।

यादव ने सागर लोकसभा क्षेत्र के अंतर्गत बेलहरा में एक जनसभा को संबोधित करते हुए कहा, “कांग्रेस ने आजादी के बाद भी 70 वर्षों तक राम मंदिर मुद्दे को उलझाए रखा और इसे हिंदुओं और मुसलमानों को विभाजित करने के लिए एक हथियार के रूप में इस्तेमाल किया। कांग्रेसियों ने भगवान राम (अस्तित्व) पर सवाल उठाए।’’

यादव ने कहा, “कांग्रेस पहले भी इसके (राम मंदिर) पीछे थी और अब भी इसे नहीं छोड़ रही है। वे यह कहकर भाजपा पर निशाना साधते थे कि मंदिर वहीं बनाएंगे, तारीख नहीं बताएंगे। लेकिन मंदिर का निर्माण भी हुआ और तारीख (22 जनवरी) भी सभी को बताई गई और पूरी दुनिया ने भगवान राम के चरणों में अपना सिर झुकाया।’’

यादव ने लंबे समय तक सत्ता में रहने के दौरान महिलाओं के लिए कुछ नहीं करने के लिए कांग्रेस की भी आलोचना की और कहा कि भाजपा ने उनके सम्मान में, खासकर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में उनके सशक्तिकरण के लिए बहुत काम किया है।

उन्होंने कहा, "अब महिलाओं की जिम्मेदारी कई गुना बढ़ गई है और उन्हें भारतीय संस्कृति का झंडा बुलंद करना होगा और इसके लिए संकल्प लेना होगा।"

महिलाओं के कल्याण के लिए मोदी सरकार द्वारा उठाए गए कई कदमों का हवाला देते हुए यादव ने कहा कि लोकसभा और राज्य विधानसभाओं में महिलाओं को 33 प्रतिशत आरक्षण देने के अलावा, उन्होंने 22 करोड़ परिवारों को पक्के घर उपलब्ध कराए, स्वच्छता अभियान शुरू किया और गांवों में उनके लिए सार्वजनिक शौचालयों का निर्माण कराया।

उन्होंने यह भी कहा कि लाडली बहना सहित कोई भी महिला कल्याण योजना बंद नहीं की जाएगी जैसा कि कांग्रेस ने आरोप लगाया है और लोगों को चेतावनी दी कि वे (कांग्रेस) उन्हें गुमराह करने की कोशिश करेंगे लेकिन उन्हें उन पर विश्वास नहीं करना चाहिए।

राजगढ़ लोकसभा सीट के अंतर्गत बीनागंज में एक अन्य जनसभा को संबोधित करते हुए, यादव ने कहा कि भाजपा किसी भी योजना को बंद नहीं करेगी, लेकिन निश्चित रूप से राज्य में कांग्रेस पार्टी पर ताला लगाएगी।

उन्होंने बिना नाम लिए कांग्रेस प्रत्याशी और राज्यसभा सांसद दिग्विजय सिंह पर कटाक्ष किया और कहा कि जहां भाजपा के उम्मीदवार, जो राजगढ़ से मौजूदा लोकसभा सदस्य भी हैं, एक "जबरदस्त" उम्मीदवार हैं, वहीं कांग्रेस के एक उम्मीदवार हैं वो "जबरदस्ती" के उम्मीदवार हैं।

भाजपा ने राजगढ़ लोकसभा सीट से मौजूदा सांसद रोडमल नागर को मैदान में उतारा है, जबकि कांग्रेस ने पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह को उनकी पारंपरिक सीट से मैदान में उतारा है।

यादव ने यह भी कहा कि कुछ दिन पहले ही (मध्य प्रदेश में विधानसभा चुनावों का जिक्र करते हुए) भाजपा ने “छोटे भाई” (दिग्विजय सिंह के छोटे भाई लक्ष्मण सिंह) को घर भेज दिया था।

विधानसभा चुनाव में राजगढ़ लोकसभा का हिस्सा चाचौड़ा सीट से भाजपा ने लक्ष्मण सिंह को हरा दिया।

उन्होंने कहा कि बड़े भाई जो भगवान राम को कुछ भी कहते हैं..और वही हैं जो भोपाल लोकसभा सीट छोड़कर मैदान से भाग गए। सिंह ने 2019 का लोकसभा चुनाव भोपाल से भाजपा की साध्वी प्रज्ञा सिंह ठाकुर के खिलाफ लड़ा था लेकिन असफल रहे।

इस अवसर पर यादव ने अयोध्या में भगवान रामलला के प्रतिष्ठा समारोह का निमंत्रण अस्वीकार करने के लिए कांग्रेस की आलोचना की और सवाल किया कि जिन लोगों ने भगवान राम का अपमान किया है, उन्हें जनता दूर कर देगी।

दिमो

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