देश की खबरें | अस्पताल के बिस्तर से ममता ने शांति की अपील की, तृणमूल कांग्रेस-भाजपा समर्थकों के बीच झड़पें

Get Latest हिन्दी समाचार, Breaking News on India at LatestLY हिन्दी. मुख्यमंत्री ममता बनर्जी पैर में चोट के बाद अस्पताल के बिस्तर पर हैं, अभी चल-फिर नहीं पा रही हैं और अपने समर्थकों से शांति बनाकर रखने की अपील कर रही हैं, लेकिन उन पर कथित हमले के मुद्दे पर बृहस्पतिवार को सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस और प्रतिद्वंद्वी भाजपा के समर्थकों के बीच झड़पें हुईं।

कोलकाता/नंदीग्राम, 11 मार्च मुख्यमंत्री ममता बनर्जी पैर में चोट के बाद अस्पताल के बिस्तर पर हैं, अभी चल-फिर नहीं पा रही हैं और अपने समर्थकों से शांति बनाकर रखने की अपील कर रही हैं, लेकिन उन पर कथित हमले के मुद्दे पर बृहस्पतिवार को सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस और प्रतिद्वंद्वी भाजपा के समर्थकों के बीच झड़पें हुईं।

भाजपा ने एक दिन पहले नंदीग्राम में ममता बनर्जी पर कथित हमले के मामले में सीबीआई जांच की मांग की, वहीं तृणमूल कांग्रेस के एक उच्चस्तरीय प्रतिनिधिमंडल ने राज्य के मुख्य निर्वाचन अधिकारी से मुलाकात की और कहा कि चुनाव आयोग अपनी जिम्मेदारी से बच नहीं सकता। प्रतिनिधिमंडल ने कहा कि चुनावों की घोषणा के बाद कानून व्यवस्था बनाकर रखना आयोग की जिम्मेदारी है।

इस बीच कथित हमले के मामले में नंदीग्राम में भारतीय दंड संहिता की धाराओं 341 और 323 के तहत मामला दर्ज किया गया है। पूर्ब मेदिनीपुर जिले के एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने यह जानकारी दी।

नंदीग्राम की घटना के बाद बनर्जी को कोलकाता के एसएसकेएम अस्पताल में भर्ती कराया गया है। उनकी हालत ‘स्थिर’ है लेकिन उनके चोटिल पैर में दर्द है।

सरकारी एसएसकेएम अस्पताल के एक वरिष्ठ डॉक्टर ने कहा, ‘‘मुख्यमंत्री के बांये पैर और टखने में गंभीर चोट लगी है, इसके अलावा उनके दांये कंधे, कलाई से ऊपर और गर्दन में चोट आई हैं। अभी वह स्थिर हैं लेकिन चोटिल पैर में गंभीर दर्द है।’’

उन्होंने कहा, ‘‘डॉक्टरों के बोर्ड ने शाम को उनकी स्थिति का आकलन किया और आगे रेडियोलॉजिकल जांच करने का फैसला किया है।’’

हालांकि डॉक्टरों ने कहा कि 66 वर्षीय बनर्जी को सर्जरी की जरूरत नहीं पड़ेगी।

तृणमूल कांग्रेस के कार्यकर्ताओं ने पार्टी प्रमुख एवं पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी पर हुए कथित हमले के विरोध में बृहस्पतिवार को राज्य भर में विरोध प्रदर्शन किए।

कार्यकर्ताओं ने कोलकाता, उत्तर 24 परगना, हुगली, हावड़ा, बीरभूम, दक्षिण 24 परगना और जलपाईगुड़ी जिले के कुछ हिस्सों में विरोध प्रदर्शन किए।

इस दौरान पार्टी कार्यकर्ताओं ने भाजपा के खिलाफ नारेबाजी की और बनर्जी के खिलाफ साजिश रचने के आरोप लगाए।

सत्तारुढ़ पार्टी के कार्यकर्ता सड़कों पर उतर आए और उन्होंने टायर जलाए। पार्टी कार्यकर्ताओं और भाजपा के कार्यकर्ताओं के एक समूह के बीच सुबह बिरूलिया इलाके में झड़प हुई लेकिन स्थित को तत्काल काबू में कर लिया गया।

बनर्जी के शीघ्र स्वस्थ होने के लिए नंदीग्राम के पीरबाबा मजार में और मंदिरों में कार्यकर्ताओं ने प्रार्थना की। गौरतलब है कि पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने बुधवार को आरोप लगाया कि नंदीग्राम में चुनाव प्रचार के दौरान ‘‘चार-पांच लोगों’’ ने उन्हें धक्का दिया, जिसके कारण वह जमीन पर गिर गईं और उनके बांए पैर, कमर, कंधे और गर्दन में चोट आई है।

तृणमूल के प्रतिनिधि मंडल ने यहां आयोग के अधिकारियों से मुलाकात करने के बाद निर्वाचन आयोग पर भाजपा नेताओं के ‘‘आदेशानुसार’’ काम करने का आरोप लगाया और कहा कि ‘‘बनर्जी पर हमला हो सकने की रिपोर्ट के बावजूद निर्वाचन आयोग ने कुछ नहीं किया।’’

इस बीच, भाजपा के प्रतिनिधिमंडल ने ईसी अधिकारियों से मुलाकात की और बनर्जी पर हमले की घटना की संपूर्ण जांच कराए जाने की मांग की।

एक भाजपा नेता ने कहा, ‘‘हम चाहते हैं कि घटना की वीडियो फुटेज सार्वजनिक की जाए, ताकि लोगों को पता चला कि वास्तव में हुआ क्या था।’’

तृणमूल के महासचिव पार्थ चटर्जी ने कहा, ‘‘बंगाल में कानून-व्यवस्था की स्थिति अच्छी थी, लेकिन चुनावों की घोषणा के बाद कानून-व्यवस्था ईसी (निर्वाचन आयोग) की जिम्मेदारी बन गई।’’

उन्होंने कहा, ‘‘ईसी ने राज्य पुलिस के डीजीपी को हटा दिया और अगले ही दिन उन पर(बनर्जी) हमला हो गया।’’

चटर्जी ने दावा किया कि वरिष्ठ भाजपा नेताओं के कई बयानों से ये संकेत मिले थे कि बनर्जी पर हमला हो सकता है और ‘‘ये जानकारियां होने के बावजूद मुख्यमंत्री को पर्याप्त सुरक्षा मुहैया नहीं कराई गई।’’

उन्होंने कहा, ‘‘जब ईसी प्रशासन का प्रभारी है, तो ममता बनर्जी पर हमले की जिम्मेदारी कौन लेगा? ईसी को इस घटना की जिम्मेदारी लेनी होगी।’’

चटर्जी ने कहा, ‘‘वे भाजपा नेताओं के आदेश पर काम कर रहे हैं। भाजपा ने ईसी से किसी अधिकारी को हटाने को कहा और वे उसे हटा रहे हैं।’’

भाजपा की पश्चिम बंगाल इकाई के अध्यक्ष दिलीप घोष ने राज्य की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी पर हुए कथित हमले की जांच सीबीआई से कराने की मांग की, साथ ही उन्होंने कहा कि इस बात की जांच की जरूरत है कि कहीं यह घटना वोट हासिल करने के लिए ‘‘रचा गया नाटक’’ तो नहीं है।

घोष ने संवाददाताओं से बातचीत में कहा कि राज्य के लोगों ने पहले भी इस प्रकार का ‘‘नाटक’’ देखा है।

उन्होंने कहा, ‘‘ इस बात की जांच कराई जाने की जरूरत है कि वास्तव में हुआ क्या था। कैसे ‘जेड-प्लस’ सुरक्षा प्राप्त व्यक्ति पर हमला हुआ, यह जांच का विषय है। सच्चाई सामने लाने के लिए राज्य को मामले की सीबीआई जांच के आदेश देने चाहिए।’’

मेघालय और त्रिपुरा के पूर्व राज्यपाल एवं पार्टी नेता तथागत रॉय और प्रदेश भाजपा प्रवक्ता सामिक भट्टाचार्य बृहस्पतिवार की सुबह मुख्यमंत्री का हालचाल जानने के लिए एसएसकेएम अस्पताल गये थे।

भट्टाचार्य ने कहा कि जब वg अस्पताल पहुंचे तो तृणमूल कांग्रेस के समर्थकों ने ‘‘वापस जाओ, भाजपा हाय हाय’’ के नारे लगाये लेकिन उन्होंने इस पर कोई प्रतिक्रिया व्यक्त नहीं की।

उन्होंने कहा कि वे चिकित्सकीय कारणों से तृणमूल कांग्रेस प्रमुख से मुलाकात नहीं कर सके।

भट्टाचार्य ने कहा, ‘‘हमने वहां मौजूद मंत्री अरूप बिस्वास सहित तृणमूल कांग्रेस के नेताओं को अपनी चितांओं से अवगत करा दिया है और मुख्यमंत्री के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना की ।’’

ममता ने आज अस्पताल के बिस्तर से जारी वीडियो संदेश में कहा कि वह कुछ दिनों में चुनाव प्रचार के लिए लौटेंगी और जरूरत पड़ने पर व्हीलचेयर का इस्तेमाल करेंगी।

उन्होंने कहा, ‘‘मैं अपनी पार्टी के कार्यकर्ताओं, समर्थकों ओर आम लोगों से अपील करती हूं कि शांति बनाए रखें। यह सच है कि कल रात मैं बुरी तरह जख्मी हो गई और सिर एवं छाती में तेज दर्द हुआ। चिकित्सक मेरा इलाज कर रहे हैं।’’

बनर्जी ने कहा, ‘‘मैं हर किसी से शांति बनाए रखने की अपील करती हूं। मैं अगले कुछ दिनों में क्षेत्र में लौटने की उम्मीद करती हूं।’’

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